VIDEO: T-18 ट्रेन ने दूसरे ट्रायल के दौरान रचा इतिहास, 180 KM की स्पीड से दौड़ी
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VIDEO: T-18 ट्रेन ने दूसरे ट्रायल के दौरान रचा इतिहास, 180 KM की स्पीड से दौड़ी

 अपने पहले स्पीड ट्रायल के दौरान ही यह ट्रेन 160 किलोमीटर की गति पर दौड़ चुकी है. 

देश की सबसे आधुनिक इंजनलेस ट्रेन T-18 ने रविवार को स्पीड के मामले में नया रिकॉर्ड बनाया.

नई दिल्ली: देश की सबसे आधुनिक इंजनलेस ट्रेन T-18 ने रविवार को स्पीड के मामले में नया रिकॉर्ड बनाया. दूसरे ट्रायल के दौरान रेलगाड़ी 180 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से दौड़ी. दूसरा स्पीडी ट्रायल कोटा से सवाईमाधोपुर के बीच किया जा रहा है. अपने पहले स्पीड ट्रायल के दौरान ही यह ट्रेन 160 किलोमीटर की गति पर दौड़ चुकी है. ICF प्रमुख सुधांशु मनी दूसरे ट्रायल के दौरान मौजूद रहे. रेल मंत्री पीयूष गोयल ने इस संबंध में एक वीडियो ट्वीट किया है. अभी इस ट्रेन को 200 किलोमीटर प्रति घंटा की गति से चलाए जाने की संभावना है.  

आसीएफ के जीएम सुधांशु मनी ने कहा, "टेन 18 ने ट्रायल के दौरान 180 की स्पीड हासिल की. हालांकि अभी कई ट्रायल होने हैं. यह ट्रेन 18 के लिए माइलस्टोन है." उन्होंने आगे कहा, "अभी डेटा का विश्लेषण किया जाएगा लेकिन मैं केवल इस बात की पुष्टि कर सकता हूं कि ट्रेन ने 180 किमी की गति प्राप्त की. इससे पहले इसी रेल खंड पर हुए ट्रायल में यह ट्रेन 170 किमी की स्पीड से दौड़ी थी. टी-18 से पहले भारतीय रेल ट्रैक पर तेजस ने 180 किमी की गति हासिल की थी. वर्तमान में गतिमान एक्सप्रेस दिल्ली से झांसी के बीच 160 किमी की स्पीड से दौड़ती है जो कि देश की सबसे तेज चलने वाली गाड़ी है. 

 

 

इसलिए रखा गया टी-18 नाम
बताया जा रहा है कि ट्रेन का नाम टी-18 इसलिए रखा गया है, क्योंकि भारतीय रेलवे इस ट्रेन को 2018 में लोगों के लिए चलाएगी. यात्री सुविधाओं की बात करें शौचालयों में एनेस्थेटिक टच-फ्री बाथरूम है. सामान रखने वाला बड़ा रैक है. ट्रेन के दोनों छोर पर ड्राइविंग केबिन है. डिब्बों में विकलांग यात्रियों के लिए व्हील चेयर की जगह है. इस ट्रेन को कोई इंजन रिवर्सल जरूरत नहीं है.  

अभी तक तय नहीं हो पाया रूट
हालांकि टी-18 का ट्रायल 180 की स्पीड से किया जा रहा है लेकिन सूत्रों के मुताबिक यह ट्रेन 160 किमी की गति से चलेगी. आरडीएसओ के अधिकारियों के मुताबिक, किसी भी ट्रेन की गति उसकी सामान्य स्पीड से 10% ज्यादा टेस्ट की जाती है. इसका ट्रायल दिसंबर तक पूरा होने की उम्मीद है. हालांकि अभी तक यह तय नहीं हो सका है कि टी-18 किस रूट पर दौड़ेगी. शुरुआत में इसके दिल्ली-भोपाल रूट पर चलाए जाने की खबरें आई थीं लेकिन अब कुछ सूत्र इसे वाराणसी रूट पर भी चलाने की बात कह रहे हैं. वाराणसी पीएम मोदी का संसदीय क्षेत्र है. 

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