महाराष्ट्र एटीएस ने जिस सनातन संस्था के 3 लोगों को हथियारों के साथ पकड़ा है वे राज्य में विभिन्न स्थानों पर विस्फोट करने की कथित रूप से साजिश रच रहे थे.
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मुंबई : महाराष्ट्र एटीएस ने जिस सनातन संस्था के 3 लोगों को हथियारों के साथ पकड़ा है वे राज्य में विभिन्न स्थानों पर विस्फोट करने की कथित रूप से साजिश रच रहे थे. इस पर कांग्रेस का कहना है कि इस संस्था को बैन कर देना चाहिए. महाराष्ट्र प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अशेाक चव्हाण ने भाजपा नीत राज्य सरकार पर चरमपंथी संगठनों के खिलाफ समय पर कार्रवाई नहीं करने का आरोप लगाया. चव्हाण ने आरोप लगाया कि 3 संदिग्ध महाराष्ट्र के दो दक्षिणपंथी संगठनों से जुड़े हैं.
उन्होंने एक बयान में कहा, 'सरकार ने जानबूझकर इन चरमपंथी संगठनों के खिलाफ कार्रवाई टाली जिससे राज्य में चरमपंथ का जहर फैला.' कांग्रेस नेता अशोक चह्वाण ने कहा कि एटीएस ने वैभव राउत, शरद कालास्कर और सुधन्वा गोंधालेकर को गिरफ्तार किया है. उनके पास से 20 बम और 50 और बम बनाने की सामग्री मिली है. यह सेक्युलर ताकतों को तोड़ने की साजिश है.
ATS had recovered 20 bombs & explosives for 50 more bombs. Vaibhav Raut & other 2-3 people from Sanatan Sanstha have been arrested. There is a big controversy behind this to polarize and break secular forces. This Sanstha should be banned: Ashok Chavan, Congress #Maharshtra pic.twitter.com/v3l2zdvxAF
— ANI (@ANI) August 12, 2018
अब तक 16 लोगों से पूछताछ
इससे पहले एटीएस ने इस मामले में कम से कम 16 लोगों से पूछताछ भी की. एटीएस अधिकारी ने कहा कि एटीएस ने राउत के घर से बड़ी मात्रा में विस्फोटक सामग्री जब्त की थी. पुणे में गोंधालेकर द्वारा उपलब्ध कराई गई सूचना के आधार पर छापेमारी की गई. उन्होंने कहा कि छापेमारी में मैगजीन के साथ 11 देसी तमंचे, एक एयरगन, पिस्तौल की दस नली, छह पिस्तौल मैगजीन, आंशिक रूप से बनी छह पिस्तौल, आंशिक रूप से बनी तीन मैगजीन और हथियार के कई भाग जब्त किए गए.
बम बनाने की सामग्री भी मिली
इसके अलावा, बम बनाने की सामग्री, वाहनों की छह नंबर प्लेट, सीडी, पेन ड्राइव, हार्डडिस्क और हैंडबुक और बम बनाने से जुड़े अन्य साहित्य भी बरामद किए गए. जांचकर्ताओं को संदेह है कि जब्त सामग्री का इस्तेमाल आईईडी बनाने के लिए किया जाना था.
गोंधालेकर है गिरोह का सरगना
एटीएस के अनुसार, गोंधालेकर इस गिरोह का सरगना है. उन्होंने कहा कि हथियारों की बरामदगी के साथ, एटीएस ने राउत तथा दो अन्य के खिलाफ गैरकानूनी क्रियाकलाप रोकथाम कानून तथा विस्फोटक सामग्री के तहत दर्ज प्राथमिकी में शस्त्र अधिनियम की धाराएं भी जोड़ी गई हैं.
मुंबई के पास से पकड़े गए थे आरोपी
एटीएस ने मुंबई के निकट नालासोपारा से वैभव राउत, शरद कालास्कर और पुणे से सुधन्वा गोंधालेकर को गिरफ्तार किया था. राउत के आवास और दुकान पर छापेमारी के बाद एटीएस ने 20 देसी बम और बम सर्किट ड्रॉविंग समेत भारी मात्रा में विस्फोटक जब्त किये थे.
गौरी लंकेश की हत्या में हाथ होने का संदेह
एटीएस प्रमुख अतुल चंद्र कुलकर्णी ने कहा था कि वे इस बात की जांच करेंगे कि क्या गिरफ्तार लोगों के अंधविश्वास विरोधी कार्यकर्ताओं नरेंद्र दाभोलकर, गोविंद पानसरे और पत्रकार गौरी लंकेश की हत्या से भी कोई संबंध थे. एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि एटीएस ने नालासोपारा, पुणे, सतारा, सोलापुर और राज्य में अन्य जगहों पर कम से कम 16 अन्य लोगों से तीन लोगों के साथ संदिग्ध संबंधों के सिलसिले में पूछताछ की है.
मोबाइल फोन फॉरेंसिक जांच के लिए भेजेंगे
पुलिस उनके मोबाइल फोन की जांच करके इस बात का पता लगाने की भी कोशिश कर रही है कि क्या गिरफ्तार लोग समान सोच वाले सोशल मीडिया समूहों का हिस्सा थे. उनके मोबाइल फोन विश्लेषण के लिये फॉरेंसिक विज्ञान प्रयोगशालाओं में भेजे जाएंगे. राउत के कथित सोशल मीडिया एकाउन्ट में इस बात का उल्लेख था कि वह दक्षिणपंथी समूह सनातन संस्था से जुड़ा हुआ है. हालांकि, समूह ने कल इस बात से इंकार किया कि वह उसका सदस्य था. मुंबई की एक अदालत ने गिरफ्तार तीन लोगों को 18 अगस्त तक एटीएस की हिरासत में भेज दिया था.