कांग्रेस संसद में आतंकी हमलों, एनएसजी मुद्दे को उठाएगी
Advertisement

कांग्रेस संसद में आतंकी हमलों, एनएसजी मुद्दे को उठाएगी

संसद का मानसून सत्र अगले महीने शुरू होने की संभावना है जिससे पहले सरकार के लिए समस्या बढ़ रही है क्योंकि मुख्य विपक्षी कांग्रेस ने सोमवार को संकेत दिया कि वह एनएसजी के मुद्दे पर नाकामी, आतंकवादी हमलों और सुब्रमण्यम स्वामी के आक्षेपों के मुद्दे को जोरदार तरीके से उठाएगी।

कांग्रेस संसद में आतंकी हमलों, एनएसजी मुद्दे को उठाएगी

नई दिल्ली : संसद का मानसून सत्र अगले महीने शुरू होने की संभावना है जिससे पहले सरकार के लिए समस्या बढ़ रही है क्योंकि मुख्य विपक्षी कांग्रेस ने सोमवार को संकेत दिया कि वह एनएसजी के मुद्दे पर नाकामी, आतंकवादी हमलों और सुब्रमण्यम स्वामी के आक्षेपों के मुद्दे को जोरदार तरीके से उठाएगी।

कांग्रेस प्रवक्ता कपिल सिब्बल ने संवाददाताओं से कहा, ‘इस बार संसद का सत्र रोचक होगा।’ कई मुद्दों पर खासकर एनएसजी के मुद्दे पर भारत की नाकामी पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री को समझ लेना चाहिए कि कूटनीति चमक-धमक वाला मामला नहीं है।

सिब्बल ने कहा कि प्रधानमंत्री टीवी पर दिखते रहना चाहते हैं। उन्होंने कहा, ‘विदेश नीति परिपक्वता के साथ संचालित की जाती है। कूटनीति बहुत शांत और शालीन तरीके से की जाती है। लेकिन हमें ऐसा कुछ भी नहीं दिखाई देता।’ एनएसजी के विषय पर प्रधानमंत्री के बयान को लेकर उन पर निशाना साधते हुए कांग्रेस नेता ने कहा कि यह कहने का क्या मतलब था कि मेक्सिको और स्विट्जरलैंड भारत के पक्ष में थे।

उन्होंने कहा, ‘हम मोदीजी से प्यार करते हैं, लेकिन ज्यादा प्यार भारत से करते हैं। इस तरह के चमक-धमक वाले दिखावे के साथ अंतरराष्ट्रीय समुदाय में भारत की छवि को कमजोर मत कीजिए।’ सिब्बल ने प्रधानमंत्री को याद दिलाया कि संप्रग सरकार के समय भारत ने अमेरिका के साथ 123 समझौते बिना दिखावे के किये थे।

उन्होंने कहा कि राजग की पहली सरकार में विदेश मंत्री रहे वरिष्ठ भाजपा नेता यशवंत सिन्हा ने भी हैरानी जताई कि भारत एनएसजी में प्रवेश के लिए जोर क्यों दे रहा है जब उसे 2008 में ही छूट मिल चुकी है।

आतंकी हमलों का मुद्दा उठाते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा, ‘मोदी सरकार की विदेश नीति का नतीजा गुरदासपुर, पठानकोट और पांपोर है। जमीनी हकीकत यही है।'

Trending news