मानवता की मिसाल: मुस्लिम नौजवानों ने किया हिंदू बुजर्ग का अंतिम संस्कार
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मानवता की मिसाल: मुस्लिम नौजवानों ने किया हिंदू बुजर्ग का अंतिम संस्कार

मुंबई में कुछ मुस्लिम नौजवानों ने एक हिंदू बुजुर्ग का धार्मिक रीति से दाह संस्कार कर हिंदू-मुस्लिम भाईचारे की अद्भुत मिसाल पेश की है। घटना मुंबई के मुंब्रा इलाके की है। यहां एक हिंदू बुजुर्ग के निधन के बाद उनका अंतिम संस्कार करने के लिए उनकी पत्नी के अलावा कोई भी नहीं था। इस हालात में कुछ मुस्लिम युवक आगे आए और बुजुर्ग की अर्थी बनाकर उन्हें श्मशान ले गए और बुजुर्ग का बिल्कुल हिंदू रीति-रिवाज से दाह संस्कार किया। इस तरह से मुस्लिम युवकों ने पड़ोसी होने का धर्म निभाया और मानवता की मिसाल पेश की।

तस्वीर के लिए साभार- फेसबुक पेज जितेन्द्र अवहाद

नई दिल्ली: मुंबई में कुछ मुस्लिम नौजवानों ने एक हिंदू बुजुर्ग का धार्मिक रीति से दाह संस्कार कर हिंदू-मुस्लिम भाईचारे की अद्भुत मिसाल पेश की है। घटना मुंबई के मुंब्रा इलाके की है। यहां एक हिंदू बुजुर्ग के निधन के बाद उनका अंतिम संस्कार करने के लिए उनकी पत्नी के अलावा कोई भी नहीं था। इस हालात में कुछ मुस्लिम युवक आगे आए और बुजुर्ग की अर्थी बनाकर उन्हें श्मशान ले गए और बुजुर्ग का बिल्कुल हिंदू रीति-रिवाज से दाह संस्कार किया। इस तरह से मुस्लिम युवकों ने पड़ोसी होने का धर्म निभाया और मानवता की मिसाल पेश की।

आठ मुस्लिम युवकों ने पहल करते हुए हिंदू बुजुर्ग के अंतिम संस्कार की तैयारियां की। उन्होंने दाह संस्कार के लिए जरूरी पारंपरिक सामान जैसे बांस, रस्सी, मटका, अगरबत्तियों के साथ-साथ कपड़ा और एक फूस का आसान खरीदा। इसके बाद युवक शव को सुबह तीन बजे एक शमशान घाट ले गए और उनका अंतिम संस्कार किया। मुंब्रा कलवा के विधायक जितेंद्र ने भी फेसबुक पर पोस्ट लिखकर युवकों की प्रशंसा की।

युवकों के इस काम पर मुंब्रा कलवा के विधायक जितेन्द्र अवहाद ने एक फेसबुक पोस्ट पर उन्हें सैल्यूट किया। उनकी मुस्लिम बहुल मुंब्रा के निवासियों ने भी तारीफ की है। मानवता की मिसाल पेश करने वाले इन युवकों के नाम है - खलील पवने, फहद दबीर, नवाज दबीर, राहील दबीर, शबान खान, मकसूद खान, फारूख खान और मोहम्मद कसम शेख । मुस्लिम युवकों के इस काम की इलाके में सराहना हो रही है। सोशल मीडिया पर भी इस घटना और इसकी तस्वीरें वायरल हो रही हैं।

 

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