पूर्व केंद्रीय मंत्री अकबर के एक अन्य पूर्व सहयोगी रशीद किदवई ने भी ट्वीट कर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वाली महिलाओं का समर्थन किया है.
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नई दिल्ली: महिला पत्रकारों द्वारा यौन शोषण के आरोपों से चौतरफा घिरे विदेश राज्य मंत्री एमजे अकबर ने लगातार बढ़ते दबाव के चलते बुधवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया. बता दें कि मीटू अभियान के तहत एमजे अकबर के पर लग रहे आरोपों को महिला पत्रकारों के साथ ही अकबर के पूर्व सहयोगी रहे कई पुरुष पत्रकारों ने भी समर्थन किया है. अकबर के पूर्व सहयोगी रहे लेखक-पत्रकार आकार पटेल ने नेशनल हेराल्ड अखबार में लिखे अपने लेख में कहा है कि मुझे आशा है कि अकबर को इस्तीफा देने के बजाय उन्हें निकाल दिया जाएगा.
अकबर को इस्तीफा देने के बजाए निकाला जाएगा- आकार पटेल
यौन शोषण के आरोपों पर चौतरफा आलोचना झेल रहे अकबर के विषय में लिखे गए अपने लेख में आकार पटेल ने कहा कि युवा महिलाओं पर उनके हमलों के बारे में इन रहस्योद्घाटन का मतलब है कि अपनी प्रतिष्ठा के साथ आज वह जहां भी खड़ा है, वह हर समय और सही मायने में फटे कपड़ों (चिथड़ों) में ही रहा है. एक लेखक और विचारक के रूप में उनकी विश्वसनीयता अगर समाप्त नहीं हुई है तो, कम हुई है. मुझे आशा है कि अकबर को इस्तीफा देने के बजाय उन्हें निकाल दिया जाएगा. बता दें कि पटेल एक जाने-माने स्तंभकार हैं. पटेल ने 2002 के गुजरात दंगों पर 'राइट्स एंड रॉन्गस' नाम से एक रिपोर्ट के सह-लेखक भी रहे हैं. उन्होंने टेक्सटाइल इंडस्ट्री की पृष्ठभूमि पर 'इंडिया : लो ट्रस्ट सोसाइटी' नाम से भी एक पुस्तक लिखी है.
सभी महिला पत्रकारों के आरोप हैं सही- रशीद किदवई
वहीं, पूर्व केंद्रीय मंत्री अकबर के एक अन्य पूर्व सहयोगी रशीद किदवई ने भी ट्वीट कर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाने वाली महिलाओं का समर्थन किया है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि मैं एशियन ऐज में वर्ष 1993-96 में पॉलिटिकल ब्यूरो में रहा था. मैं मानता हूं कि गजाला वहाब, सुपर्णा शर्मा, तुशिता पटेल, प्रिया रमानी, मीनल बघेल और अन्य ने जो आरोप लगाए हैं, वे सही होंगे. बता दें कि रशीद किदवई एक लेखक और पत्रकार हैं. किदवई ने कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी की बायोग्राफी के लेखक रहे हैं. साथ ही उन्होंने कांग्रेस पार्टी के मुख्यालय 24, अकबर रोड पर भी एक किताब लिखी थी.
अकबर के इस्तीफे से महिला के तौर पर हम साबित हुए सही- रमानी
गौरतलब है कि एमजे अकबर के इस्तीफे के बाद उन पर यौन शोषण के आरोप लगाने वाली पत्रकार प्रिया रमानी ने कहा कि अकबर के इस्तीफे से महिला के तौर पर हम सही साबित होते हैं. मैं उस दिन का इंतजार कर रही हूं जब मुझे कोर्ट से इंसाफ मिलेगा. बता दें रमानी ने हाल ही में भारत में जोर पकड़े ‘मी टू’ अभियान के तहत उनके खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए थे.