भूमि विधेयक पर संयुक्त संसदीय समिति की अध्यक्षता करेंगे एसएस आहलूवालिया
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भूमि विधेयक पर संयुक्त संसदीय समिति की अध्यक्षता करेंगे एसएस आहलूवालिया

पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा सांसद एसएस आहलूवालिया को दोनों सदनों की संयुक्त समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है जो विवादास्पद भूमि अधिग्रहण विधेयक के प्रावधानों पर विचार करेगी। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने उनकी नियुक्ति की है जो सोमवार से प्रभावी हो गई। आहलूवालिया पश्चिम बंगाल में दार्जीलिंग से भाजपा के लोकसभा सदस्य हैं।

नई दिल्ली : पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा सांसद एसएस आहलूवालिया को दोनों सदनों की संयुक्त समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है जो विवादास्पद भूमि अधिग्रहण विधेयक के प्रावधानों पर विचार करेगी। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने उनकी नियुक्ति की है जो सोमवार से प्रभावी हो गई। आहलूवालिया पश्चिम बंगाल में दार्जीलिंग से भाजपा के लोकसभा सदस्य हैं।

करीब करीब पूरा विपक्ष और यहां तक कि सत्तारूढ़ राजग के शिवसेना और स्वाभिमान पक्ष जैसे कुछ सहयोगी दल सरकार द्वारा लाए गए संशोधन विधेयक के विभिन्न प्रावधानों के खिलाफ हैं। कांग्रेस और वाम दलों ने मोदी शासन को किसान विरोधी और कॉरपोरेट समर्थक बताते हुए विशेष रूप से निशाना बनाया है। लोकसभा और राज्य सभा की 30 सदस्यीय संयुक्त समिति अपनी रिपोर्ट विधेयक पर मॉनसून सत्र के पहले दिन सौंपेगी।

संयुक्त समिति में शामिल लोकसभा के 20 सदस्यों में केवी थॉमस, राजीव सातव (दोनों कांग्रेस से), आनंद राव अडसुल (शिवसेना), कल्याण बनर्जी (तृणमूल कांग्रेस), बी माहताब (बीजद), मोहम्मद सलीम (माकपा), चिराग पासवान (लोजपा) और उदित राज, अनुराग ठाकुर तथा गणेश सिंह (सभी भाजपा से) शामिल हैं। राज्यसभा के 10 सदस्यों में रामनारायण डूडी (भाजपा), जयराम रमेश, पन्ना लाल पूनिया, दिग्विजय सिंह (सभी कांग्रेस), राम गोपाल यादव (सपा), शरद यादव (जदयू), शरद पवार (राकांपा), डेरेक ओ ब्रायन (तृणमूल कांग्रेस) और राजपाल सिंह सैनी (बसपा) शामिल हैं। सरकार इस विधेयक को हाल में संपन्न संसद सत्र के दौरान समिति को भेजने के लिए राजी हुई थी।

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