कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मिले हुड्डा और चव्हाण
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कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मिले हुड्डा और चव्हाण

कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों को बदलने के बारे में जल्द फैसला लिये जाने के संकेतों के बीच हरियाणा के मुख्यमंत्री भूपिन्दर सिंह हुड्डा और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने यहां कांग्रेस के केन्द्रीय नेतृत्व से मुलाकात की।

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से मिले हुड्डा और चव्हाण

नई दिल्ली : कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों को बदलने के बारे में जल्द फैसला लिये जाने के संकेतों के बीच हरियाणा के मुख्यमंत्री भूपिन्दर सिंह हुड्डा और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण ने यहां कांग्रेस के केन्द्रीय नेतृत्व से मुलाकात की।

हुडडा की कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी से करीब 30 मिनट की मुलाकात हुई। वह आज सुबह उनसे मिले। चव्हाण ने सोनिया के राजनीतिक सचिव अहमद पटेल से शुक्रवार देर रात मुलाकात की थी। उनकी मुलाकात एक घंटे चली थी।

पार्टी नेताओं ने बताया कि असम के वरिष्ठ मंत्री हिमंत बिस्वा सरमा के भी कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व से मिलने की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि असम में सबसे पहले मुख्यमंत्री बदला जा सकता है। उसके बाद महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री को बदला जा सकता है। हरियाणा के मामले में हालांकि फैसला कठिन हो सकता है। हरियाणा में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव होंगे। पार्टी नेताओं के एक वर्ग का मानना है कि समय कम है और कोई विकल्प नहीं है।

हुड्डा के करीबी सूत्रों ने सोनिया के साथ उनकी मुलाकात को सामान्य बैठक बताया। उन्होंने कहा कि राज्य में नेतृत्व परिवर्तन के बारे में कोई बात नहीं हुई। कांग्रेस महासचिव एवं हरियाणा के पार्टी प्रभारी शकील अहमद ने बताया कि प्रदेश कांग्रेस कमेटी या कांग्रेस विधायक दल के स्तर पर नेतृत्व बदलाव पर विचार नहीं चल रहा है।

लोकसभा चुनवों में मिली भरी पराजय के बाद संगठन के स्तर पर फेरबदल की कवायद के तौर पर मुख्यमंत्रियों को बदलने का फैसला जल्द आने की संभावना है। असम में विधानसभा चुनाव 2016 में होने हैं जबकि हरियाणा विधानसभा का कार्यकाल अक्तूबर में और महाराष्ट्र का इस साल दिसंबर में समाप्त हो रहा है।

कांग्रेस नेतृत्व पर असम के मुख्यमंत्री तरूण गोगोई को हटाने का दबाव लंबे समय से है। लोकसभा चुनाव में असम में कांग्रेस के खराब प्रदर्शन के बाद नेतृत्व परिवर्तन का दबाव और बढ़ गया है। असम में कांग्रेस 14 में से केवल तीन लोकसभा सीटें ही जीत पायी जो पार्टी की उम्मीदों के हिसाब से काफी कम हैं। राज्य में चूंकि अभी जल्द चुनाव नहीं होने हैं, ऐसे में नेतृत्व मानता है कि यदि बदलाव करना है तो अभी करना बेहतर होगा क्योंकि राज्य में नये नेतृत्व को विधानसभा चुनावों की तैयारी का पर्याप्त समय मिल जाएगा।

कांग्रेस का केन्द्रीय नेतृत्व हालांकि इच्छुक है कि राज्य में मुख्यमंत्री को बदलने का फैसला सद्भावपूर्ण ढंग से होना चाहिए। गोगोई केन्द्रीय नेतृत्व के संपर्क में पिछले कुछ दिनों से हैं। अंतिम फैसले से पहले पार्टी राज्य में वरिष्ठ नेताओं को पर्यवेक्षक बनाकर भेज सकती है। पार्टी सूत्रों ने कहा है कि चव्हाण को हटाने से पहले महाराष्ट्र में एके एंटनी और गुलाम नबी आजाद को पर्यवेक्षक बनाकर भेजा जा सकता है।

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