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कोलकाता : शहीदों को सम्मान देने के लिए बंगाल क्रिकेट संघ (सीएबी) आगे आया है. दुनिया के बेहतरीन स्टेडियमों में शुमार होने वाले ईडन गार्डेंस के चार स्टैंडों के नाम उन सैनिकों के नाम किए हैं, जिन्होंने देश के लिए अपना बलिदान दिया है. इन स्टैंडों का नामकरण शुक्रवार को दिल्ली डेयरडेविल्स और कोलकाता नाइट राइडर्स के बीच हुए आईपीएल मैच से पहले किया गया.
देश की रक्षा को समर्पित चार युद्धवीरों के नाम ईडन गार्डेंन पर छाया जब बंगाल क्रिकेट संघ (कैब) ने स्टेडियम के चार ब्लॉक का नाम इनके नाम पर रखा. लेफ्टिनेंट कर्नल धन सिंह थापा, कर्नल एनजे नायर, हवलदार हंगपन दादा और सूबेदार जोगिंदर सिंह के नाम की पट्टियों का बुधवार को समारोह में अनावरण किया गया.
बता दें कि यह स्टेडियम रक्षा मंत्रालय की जमीन पर बना है और पूर्व भारतीय कप्तान सौरव गांगुली, पूर्व बीसीसीआई अध्यक्ष बीएन दत्त और जगमोहन डालमिया तथा पूर्व क्रिकेटर पंकज राय के नाम पर ब्लॉक रखने के बाद यह औपचारिकता तय थी.
कर्नल एन.जे. नायर
इसमें एक स्टैंड का नाम कर्नल एन.जे. नायर के नाम पर रखा गया है. इनके दस्ते पर 1993 में नागालैंड में मोकोचुंग-मारियानी रोड के पास हथियारों से लैस करीब 100 विद्रोहियों ने हमला कर दिया था.
नायर को मरणोपरांत अशोक चक्र और कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया था. लेफ्टिनेंट जनरल प्रवीण बख्शी ने इस स्टैंड का अनावरण किया. गांगुली ने इस साल गणतंत्र दिवस पर मरणोपरांत अशोक चक्र से सम्मानित किए गए हवलदार हंगपन दादा के नाम पर रखे गए दूसरे स्टैंड का अनावरण किया. हंगपन पिछले साल जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवादियों को मार गिराने के दौरान शहीद हो गए थे.
सूबेदार जोगिंदर सिंह और लेफ्टिनेंट कर्नल धन सिंह
इसके अलावा, स्टेडियम में दो अन्य स्टैंडों के नाम सूबेदार जोगिंदर सिंह और लेफ्टिनेंट कर्नल धन सिंह थापा के नाम पर रखे गए. सूबेदार जोगिंदर सिंह ने 1962 में घायल होने के बावजूद भी एनईएफए में अपनी पोजीशन से पीछे हटने से इनकार कर दिया था. उन्हें मरणोपरांत परमवीर चक्र से सम्मानित किया गया. उनके नाम पर रखे गए स्टैंड का सेना के पूर्वी कमान के कमांड मुख्यालय के स्टॉफ प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल दुष्यंत सिंह और सीएबी के संयुक्त सचिव सुबीर गांगुली ने अनावरण किया.
लेफ्टिनेंट कर्नल थापा
साल 1962 में लद्दाख में चीन की सेना के तीन बार किए गए हमलों को खारिज करने वाले लेफ्टिनेंट कर्नल थापा को बाद में कैद कर लिया गया. उन्हें परमवीर चक्र से सम्मानित किया गया था. उनके नाम के स्टैंड का अनावरण बंगाल एरिया जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल गिरिराज सिंह और सीएबी के संयुक्त सचिव अभिषेक डालमिया ने किया.
कर्नल थापा ने लद्दाख में चीन के खिलाफ आक्रमण भी अगुआई की थी और उन्हें युद्ध के समय के सर्वोच्च सैन्य सम्मान परमवीर चक्र से सम्मानित किया गया था.