गूगल के मच्छर बीमारी फैलाने वाले मच्छरों पर लगाएंगे लगाम
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गूगल के मच्छर बीमारी फैलाने वाले मच्छरों पर लगाएंगे लगाम

यह नर मच्छर जब प्रकृति में मौजूद मादा मच्छरों से संसर्ग करेंगे, तो उसके बाद मादा मच्छर जो अंडे देंगी, उनसे बच्चे विकसित नहीं होंगे.

बंध्या नर मच्छरों को पैदा करने के लिए उन्हें वोलबचिया बैक्टीरिया से संक्रमित किया जाएगा.     (फाइल फोटो)

सैन फ्रांसिस्को:  दिग्गज इंटरनेट कंपनी गूगल की मदर कंपनी अल्फाबेट ने अमेरिकी वैज्ञानिकों के साथ मिलकर बीमारी फैलाने वाले मच्छरों की आबादी कम करने की योजना तैयार की है. गूगल की योजना मशीन जनित 2 करोड़ ऐसे मच्छर पैदा करने की है, जो मच्छरों की आबादी बढ़ने से रोकेंगे. वाशिंगटन पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक, योजना के अनुसार कैलिफोर्निया के फ्रेस्नो काउंटी में लाखों की संख्या में बंध्या नर मच्छर छोड़े जाएंगे. यह नर मच्छर जब प्रकृति में मौजूद मादा मच्छरों से संसर्ग करेंगे, तो उसके बाद मादा मच्छर जो अंडे देंगी, उनसे बच्चे विकसित नहीं होंगे.

इस परियोजना का नाम डीबग फ्रेस्नो है. इस योजना का परिचालन अल्फाबेट की सहायक कंपनी वेरली कर रही है. वैज्ञानिकों ने कहा कि इसका मकसद एडीज एजेप्टाई मच्छरों की संख्या में कमी लाना है. मच्छरों की यह प्रजाति जीका, डेंगू व चिकुनगुनिया फैलाने के लिए जिम्मेदार होती है.

कंपनी ने फ्रेस्नो काउंटी के करीब स्थित दो इलाकों में 20 सप्ताह में 10 लाख ऐसे नर बंध्या मच्छरों को छोड़ने की की योजना बनाई है, जो काटते नहीं है. रिपोर्ट में कहा गया है कि बंध्या नर मच्छरों को पैदा करने के लिए उन्हें वोलबचिया बैक्टीरिया से संक्रमित किया जाएगा. वोलबचिया एक तरह का जीवाणु है जो प्राकृतिक तौर पर 40 फीसदी कीटों में पाया जाता है. 

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