अब मिलेंगे सस्ते घर, रियल एस्टेट के लिए नई GST दर लागू
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अब मिलेंगे सस्ते घर, रियल एस्टेट के लिए नई GST दर लागू

नई आवास परियोजनाओं पर 1 अप्रैल से नई दर लागू होंगी.

अब मिलेंगे सस्ते घर, रियल एस्टेट के लिए नई GST दर लागू

नई दिल्ली: माल एवं सेवा कर (जीएसटी) परिषद ने आवास परियोजनाओं में मकानों पर नये कर ढांचे को लागू करने की योजना को मंगलवार को स्वीकृति दी. केंद्रीय वित्त मंत्रालय में राजस्व सचित एबी पांडे ने समिति के निर्णय की जानकारी देते हुए संवाददाताओं से कहा, ‘राज्य सरकारों के साथ बातचीत कर के आवास विकास के कारोबार में लगी कंपनियों को नए कर ढांचे के अनुपालन के लिए पर्याप्त समय दिया जाएगा.’ 

जीएसटी परिषद ने 24 फरवरी की पिछली बैठक में किफायदी दर के निर्माणाधीन मकानों पर जीएसटी दर को घटा कर एक प्रतिशत कर दिया था. अन्य श्रेणी के मकानों पर कर की दर कम कर पांच प्रतिशत कर दी गयी. नयी दरें एक अप्रैल से लागू होंगी. जीएसटी परिषद की बैठक में रीयल एस्टेट क्षेत्र पर वर्तमान कर ढांचे से नए कर ढांचे को लागू करने से जुड़े प्रावधानों पर और इसके अनुपालन से जुड़े मुद्दों पर चर्चा की गयी. पांडे ने कहा कि नयी आवास परियोजनाओं पर 1 अप्रैल से नयी दरें अनिवार्य रूप से लागू होंगी.

बता दें, 24 फरवरी को जीएसटी काउंसिल की बैठक में फैसला लिया गया था कि अंडर कंस्ट्रक्शन प्रॉपर्टी पर GST की दर 12 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी कर दिया जाएगा. साथ में यह भी कहा गया था कि इसके बाद डेवलपर्स को इनपुट टैक्स क्रेडिट का फायदा नहीं मिलेगा. साथ ही अफोर्डेबल हाउसिंग के नियमों में भी बदलाव किया जाएगा.

उस समय कहा गया था कि अफोर्डेबल हाउसिंग पर बिना इनपुट टैक्स क्रेडिट के 1 पर्सेंट जीएसटी लगेगा. उस दौरान अफोर्डेबल हाउसिंग का आधार भी बदल दिया गया. नॉन मेट्रो शहरों में 90 वर्ग मीटर और मेट्रो शहरों में 60 वर्ग मीटर के घर को ही अफोर्डेबल हाउसिंग की श्रेणी में रखा जाएगा. दोनों ही परिस्थितियों में घर की कीमत 45 लाख रूपये से ज्यादा नहीं होनी चाहिए. 

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