मुंबई : रिजर्व बैंक ने छोटे मूल्य के ऑनलाइन लेन-देन के लिये नियमों में ढील दी है। इसके तहत ग्राहकों को दुकानों पर 2,000 रुपये तक के लेन-देन के लिये कार्ड का ब्योरा दोबारा से देने की जरूरत नहीं होगी।
2000 रुपये तक के ऑनलाइन सीएनपी (कार्ड नहीं देने पर) लेन-देन के लिये सत्यापन के अतिरिक्त कारक (एएफए) में ढील देते हुए रिजर्व बैंक ने कहा कि केवल अधिकृत कार्ड नेटवर्क इस प्रकार का भुगतान सत्यापन समाधान उपलब्ध कराएंगे।
इस मॉडल में कार्ड जारी करने वाला बैंक अपने ग्राहकों के लिये वैकल्पिक आधार पर संबंधित कार्ड नेटवर्क के ‘भुगतान सत्यापन समाधान’ की पेशकश करेंगे। इस सुविधा का विकल्प चुनने वाले ग्राहक एक बारगी पंजीकरण प्रक्रिया से गुजरना होगा। इसमें जारीकर्ता बैंक द्वारा कार्ड का ब्योरा तथा एएफए देने की जरूरत होगी।
रिजर्व बैंक ने कहा, ‘उसके बाद पंजीकृत ग्राहकों को दुकानों पर प्रत्येक लेन-देन के लिये कार्ड का ब्योरा देने की आवश्यकता नहीं होगी..इससे समय की बचत होगी लेन-देन आसान होगा।’ इस मॉडल में पहले से पंजीकृत कार्ड ब्योरा पहला कारक होगा जबकि ‘लागइन’ के लिये दी जाने वाली जानकारी सत्यापन के लिये अतिरिक्त कारक होगा।