लागत कम करने के लिए लैंडलाइन ब्रॉडबैंड शुल्क माफ हो: ट्राई
Advertisement

लागत कम करने के लिए लैंडलाइन ब्रॉडबैंड शुल्क माफ हो: ट्राई

दूरसंचार नियामक ट्राई ने आज सरकार से कहा कि वह फिक्स्ड लाइन ब्रॉडबैंड सेवा को कम से कम पांच साल के लिए लाइसेंस शुल्क से छूट दे ताकि लागत घटे और ब्राडबैंड सेवाओं के विस्तार में मदद मिले।

नई दिल्ली : दूरसंचार नियामक ट्राई ने आज सरकार से कहा कि वह फिक्स्ड लाइन ब्रॉडबैंड सेवा को कम से कम पांच साल के लिए लाइसेंस शुल्क से छूट दे ताकि लागत घटे और ब्राडबैंड सेवाओं के विस्तार में मदद मिले।

ट्राई ने देश में हाइस्पीड नेटवर्क की शुरुआत में तेजी लाने के लिए और अनेक कदम सुझाए हैं। नियामक ने ब्राडबैंड से जुड़े कामों में शामिल सरकारी निकायों के पुनर्गठन का भी सुझाव दिया है जिसमें वायरलैस योजना आयोग को सांविधिक निकाय में बदलना शामिल है।

भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकार (ट्राई) ने ‘तीव्र ब्राडबैंड डिलिवरी’ पर अपनी सिफारिशों में कहा है,‘ फिक्स्ड लाइन ब्राडबैंड को बढावा देने के लिए फिक्स्ड लाइन ब्राडबैंड पर अर्जित आय पर लाइसेंस शुल्क में कम से कम पांच साल के लिए छूट दी जानी चाहिए।’ इसके साथ ही ट्राई ने दूरसंचार कंपनियों को डेस्कटाप, लैपटाप, टैबलेट आदि को अपनी ब्राडबैंड योजनाओं में शामिल करने की अनुमति देने की सिफारिश की है।’ नियामक के अनुसार सरकार को भूमिगत फाइबर बिछाने के लिए दूरसंचार कंपनियों की लागत को कम करने के लिए नीति बनानी चाहिए।

ट्राई के चेयरमैन राहुल खुल्लर ने कहा कि वायरलैस या मोबाइल ब्राडबैंड खंड में भारत को 113वें स्थान पर रखा गया है। ट्राई के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार लगभग 8 करोड़ ग्राहक मोबाइल या डोंगल के जरिए ब्राडबैंड का इस्तेमाल कर रहे हैं। इसके साथ ही नियामक ने सरकार से आग्रह किया है कि स्पेक्ट्रम भागीदारी व कारोबार पर दिशा निर्देश पर फैसला ‘अब से तीन महीने के भीतर’ कर लिया जाए।

 

Trending news