UP Board Exam 2021: यूपी बोर्ड परीक्षा के लिए तैयार किए जा रहे हैं Exam Centres, ऐसे होगी परीक्षा
अभी तक यूपी बोर्ड परीक्षा (UP Board Exam 2021) की तारीखों की घोषणा नहीं की गई है. अटकलों के बीच कहा जा रहा है कि परीक्षा अप्रैल-मई में आयोजित हो सकती है. परीक्षा से पहले सेंटर (UP Board Exam Centre) को तैयार किया जा रहा है ताकि कोरोना (Coronavirus) के चलते परीक्षा में कोई दिक्कत न हो.
नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद (UPMSP) यूपी बोर्ड एग्जाम 2021 (UP Board Exam 2021) को लेकर असमंजस की स्थिति में फंसी हुई है. रिपोर्ट की मानें तो परीक्षा अप्रैल-मई 2021 के बीच आयोजित की जा सकती है. परीक्षा को लेकर तैयारियां शुरू हो चुकी हैं.
एचटी की रिपोर्ट के अनुसार, यूपी शिक्षा विभाग ने कोरोना संक्रमण (Coronavirus) को देखते हुए परीक्षा केंद्र को विस्तारित किया है ताकि परीक्षा केंद्र (UP Board Exam Centre) में भीड़ न रहे. परीक्षा केंद्रों में कोरोना गाइडलाइन (Coronavirus Guidelines) का पालन किया जाएगा. साथ ही छात्रों के बीच दूरी बनाकर रखी जाएगी.
कोरोना गाइडलाइन का रखा जाएगा पूरा ख्याल
बीते कुछ सालों में हर परीक्षा कक्ष (UP Board Exam Centre) में डबल इनविजिलेटर (Invigilator) रखे जाते थे. हालांकि, इस बार कोरोना संक्रमण के चलते ऐसा कर पाना थोड़ा मुश्लिक हो सकता है. इसलिए जैसे हिंदी, अंग्रेजी, विज्ञान, सामाजिक विज्ञान आदि विषयों की परीक्षाओं में (जहां बड़ी संख्या में छात्र उपस्थित होते हैं), 2 इनविजिलेटर रखे जा सकते हैं.
हिंदुस्तान टाइम्स ने यूपी बोर्ड के सचिव के हवाले से लिखा है कि वे सामाजिक सुरक्षा सहित सभी कोविड-19 मानदंडों (COVID-19 Guidelines) को बनाए रखेंगे और एक परीक्षा कक्ष में दो छात्रों के बीच सुरक्षित दूरी भी बनाए रखेंगे.
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अप्रैल-मई में हो सकती है परीक्षा
आपकी जानकारी के लिए बता दें, उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा परिषद (UPMSP) यूपी बोर्ड एग्जाम 2021 (UP Board 10, 12 Exam 2021) को अप्रैल-मई 2021 के बीच आयोजित कर सकता है. डिप्टी सीएम और माध्यमिक शिक्षा मंत्री दिनेश शर्मा (Dinesh Sharma) का कहना है कि 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं की तारीखें राज्य के अपकमिंग पंचायत चुनाव पर निर्भर करती हैं.
वैश्विक महामारी कोरोना वायरस (Coronavirus) के कारण छात्रों की नियमित क्लासेस न लग पाने की वजह से राज्य सरकार ने कक्षा 9 से 12 के सिलेबस में पहले ही 30 प्रतिशत की कमी कर दी थी.