आप विधायक राघव चड्ढा ने आगे कहा कि पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह अच्छी तरह से जानते थे कि निजी निवेश और कॉर्पोरेट्स को फसलों के बाजार में लाया जाएगा. उन्हें यह भी पता था कि अनुबंध-खेती के नए तरीके पेश किए जाएंगे, एमएसपी और मंडी प्रणाली को हटा दिया जाएगा लेकिन उन्होंने कभी किसी को कुछ नहीं बताया.
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नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी के विधायक और पंजाब सह-प्रभारी राघव चड्ढा ने पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह पर कड़ा प्रहार किया है. राघव चड्ढा ने कहा कि आरटीआई से खुलासा हो गया है कि केंद्र सरकार के 3 नए कृषि कानूनों को पारित किए जाने के बारे में सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह को पहले से जानकारी थी.
राघव चड्ढा ने कहा, 'तीनों कृषि कानूनों (Farm Laws) को पारित किए जाने के बारे में कैप्टन अमरिंदर को एक साल से पता था. कैप्टन अमरिंदर सिंह ने पंजाब के लोगों के साथ गद्दारी की है, इस गुनाह के लिए इससे छोटा शब्द इस्तेमाल नहीं किया जा सकता.'
आप (AAP) के पंजाब (Punjab) सह-प्रभारी राघव चड्ढा (Raghav Chadha) ने कहा कि 7 अगस्त 2019 से कैप्टन अमरिंदर सिंह (Captain Amarinder Singh) को पता था कि किसान व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सुविधा) अधिनियम, मूल्य आश्वासन और कृषि सेवा अधिनियम (सशक्तिकरण और संरक्षण) समझौता और आवश्यक वस्तु (संशोधन) अधिनियम को लाया जा रहा है.
राघव चड्ढा ने आगे कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी ने खुद कैप्टन को उच्चाधिकार प्राप्त समिति का सदस्य नामित किया था, दोनों के बीच मैच फिक्सिंग का यह स्पष्ट मामला है, इसी कारण से कैप्टन ने किसी को नहीं बताया कि तीनों कृषि कानून लागू होंगे.
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उन्होंने कहा कि पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह अच्छी तरह से जानते थे कि निजी निवेश और कॉर्पोरेट्स को फसलों के बाजार में लाया जाएगा. उन्हें यह भी पता था कि अनुबंध-खेती के नए तरीके पेश किए जाएंगे, एमएसपी और मंडी प्रणाली को हटा दिया जाएगा लेकिन उन्होंने कभी किसी को कुछ नहीं बताया.
राघव चड्ढा ने आगे कहा, 'मैं कैप्टन को चुनौती देता हूं कि वे कोई एक सबूत पेश करें जिससे यह साबित हो सके कि कृषि कानूनों को लेकर गठित उच्चाधिकार समिति में उन्होंने कृषि कानूनों के विरोध में असहमति जताई थी.'
आप विधायक राघव चड्ढा ने कहा कि आरटीआई से पता चलता है कि हमारे किसान भाइयों ने जिन हाई पावर्ड कमेटी के तीन काले कृषि कानूनों के एजेंडे खिलाफ लड़ाई लड़ी है, कैप्टन अमरिंदर सिंह उन एजेंडे के ऊपर विस्तार से हो रही चर्चाओं में भागीदार थे. हमारा महत्वपूर्ण सबूत बताता है कि हाई पावर्ड कमेटी में कृषि से जुड़े तीनों काले कानूनों पर पहले चर्चा की गई, कैप्टन अमरिंदर सिंह को इस बात की अच्छे से जानकारी थी.
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राघव चड्ढा ने कहा कि आरटीआई से बड़ा सबूत और क्या हो सकता है? हम निश्चित रूप से कह सकते हैं कि कैप्टन ने पंजाब के अन्नदाता और किसानों से छलपूर्वक झूठ बोला है, सभी को गुमराह किया है. कैप्टन ने इन बैठकों में कृषि कानूनों को लेकर चर्चा क्यों नहीं की? जब उन्हें तीनों काले कृषि कानूनों के बारे में अच्छी तरह से पता था तो पंजाब के किसानों के साथ विचार विमर्श क्यों नहीं किया.
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