बस कुछ साल का इंतजार, महिलाएं पुरुषों से निकल जाएंगी आगे!
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बस कुछ साल का इंतजार, महिलाएं पुरुषों से निकल जाएंगी आगे!

आर्थिक सर्वेक्षण (Economic Survey) के मुताबिक पुरुषों (Men) की तुलना में महिलाओं (Women) के ज्यादा समय जीने की उम्मीद है. बता दें कि भारत (India) में जन्म के समय जीवन प्रत्याशा (Life Expectancy) 2014-18 के बीच 69.4 साल थी जो 2013-17 से 0.4 साल ज्यादा है. 

प्रतीकात्मक फोटो | Photo Credit : Feminism In India

चेन्नई: भारतीय महिलाओं (Indian Women) के कुछ सालों में पुरुषों (Men) से आगे निकलने की उम्मीद है. आर्थिक सर्वेक्षण (Economic Survey) 2021-22 में इसकी जानकारी दी गई है.

  1. आर्थिक सर्वेक्षण में बड़ा खुलासा
  2. महिलाएं निकलेंगी पुरुषों से आगे
  3. ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में काफी अंतर

संसद में पेश किया गया सर्वे

सोमवार को संसद (Parliament) में पेश किए गए सर्वेक्षण (Survey) के अनुसार 'सैंपल रजिस्ट्रेशन सिस्टम' (SRS) पर आधारित 'संक्षिप्त जीवन सारणी (Brief Life Table) 2014-18' में रिपोर्ट विभिन्न आयु समूहों (Different Age Groups) में औसत दीर्घायु का अनुमान प्रदान करती है और भारत के लिए जन्म के समय जीवन की अपेक्षा का अनुमान प्रदान करती है जो 2014-18 के लिए उपलब्ध है.

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महिलाओं के लंबे समय तक जीवित रहने की उम्मीद

पुरुषों (Men) की 68.2 साल की तुलना में महिलाओं (Women) के ज्यादा समय यानी 70.7 साल जीने की उम्मीद है. साल 2014-18 में साल 2013-17 की तुलना में बिहार और झारखंड को छोड़कर ग्रामीण (Rural) और शहरी (Urban) दोनों क्षेत्रों में अधिकांश राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में महिलाओं के लंबे समय तक जीवित रहने की उम्मीद है.

ग्रामीण क्षेत्रों की तुलना में शहरी क्षेत्रों में जीवन प्रत्याशा अधिक

भारत में जन्म के समय जीवन प्रत्याशा (Life Expectancy) 2014-18 की अवधि के लिए 69.4 साल थी जो 2013-17 से 0.4 साल अधिक है. छत्तीसगढ़ में सबसे कम 65.2 साल से लेकर केरल और दिल्ली में सबसे ज्यादा 75.3 साल तक यह राज्यों में व्यापक (Comprehensive) रूप से अलग-अलग होती है. ग्रामीण क्षेत्रों के 68 साल की तुलना में शहरी क्षेत्रों के 72.6 साल में जीवन प्रत्याशा अधिक है. सर्वेक्षण में कहा गया है कि 2013-17 की वृद्धि शहरी क्षेत्रों (0.2 साल) में वृद्धि की तुलना में ग्रामीण क्षेत्रों (0.3 साल) के लिए अधिक है.

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ग्रामीण और शहरी जीवन प्रत्याशा के बीच का अंतर काफी कम

ग्रामीण और शहरी जीवन प्रत्याशा (Life Expectancy) के बीच का अंतर भी 1970-75 से 2014-18 तक काफी कम हो गया है. देश में बढ़ती जीवन प्रत्याशा को देखते हुए यह सवाल सामने आता है कि जीवन बीमाकर्ताओं (Life Insurers) के लिए अपनी प्रीमियम दरों (Premium Rates) में वृद्धि का औचित्य क्या है.

(इनपुट - आईएएनएस) 

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