मुजफ्फरपुर में जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाने के बाद दिए गए बयान विवादित बयान को लेकर सीजेएम कोर्ट में बिहार सरकार के मंत्री श्याम रजक सहित पीडीपी सुप्रीमो महबूबा मुफ्ती और उनकी ही पार्टी की सांसद नजीर अहमद, फैयाज अहमद के खिलाफ परिवार दायर किया गया है.
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मुजफ्फरपुर: जम्मू-कश्मीर को लेकर सोमवार को बड़ा निर्णय लिया गया और अब जम्मू कश्मीर और लद्दाख भारत का एक केंद्र शासित प्रदेश बन गया है. वहीं, बिहार के मुजफ्फरपुर में जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाने के बाद सीजेएम कोर्ट में बिहार सरकार के मंत्री श्याम रजक सहित पीडीपी सुप्रीमो महबूबा मुफ्ती और उनकी ही पार्टी की सांसद नजीर अहमद, फैयाज अहमद के खिलाफ परिवार दायर किया गया है.
इन लोगों पर अधिवक्ता सुधीर ओधा ने आरोप लगाया है कि इन सभी अभियुक्तों ने जम्मू कश्मीर से धारा 370 हटाए जाने के बाद विवादित बयान दिया है. वहीं, कोर्ट ने इस परिवाद को एक्सेप्ट कर लिया है. इस मामले की अगली सुनवाई 17 अगस्त को होगी.
मुजफ्फरपुर के सीजेएम कोर्च में श्याम रजक, महबूबा मुफ्ती, नजीर अहमद, मो.फैयाज, उमर अब्दुल्ला पर की गई है. अब इस मामले में आगे क्या सुनवाई होगी ये देखने वाली बात होगी. आपको बता दें कि सोमवार को जम्मू एवं कश्मीर पुर्नगठन विधेयक 2019 राज्यसभा में पारित हो गया. जम्मू एवं कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा वापस लिए जाने और अनुच्छेद 370 को खत्म किए जाने को लेकर सरकार ने राज्यसभा में प्रस्ताव पेश किया, जिसे वह पास कराने में कामयाब रही
इसके बाद गृह मंत्री अमित शाह ने मंगलवार को लोकसभा में जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल पेश किया. एक बार संसद की मुहर लग जाने पर प्रस्ताव कानून बन जाएगा. इसके अनुसार राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में बांटा जाएगा. एक विधानसभा वाला जम्मू एवं कश्मीर और दूसरा बिना विधानसभा वाला लद्दाख क्षेत्र.