चाईबासा: झारखंड विधानसभा चुनाव (Jharkhand Assembly Elections 2019) में टिकट की रेस तेज है. जिन्हें टिकट नहीं मिल रहा वे बागी बनकर पार्टी की मुसीबत बढ़ाने में कोई कसार नहीं छोड़ रहे हैं. कुछ ऐसा ही हाल मनोहरपुर में है. तक़रीबन 30 वर्षों तक भारतीय जनता पार्टी (BJP) की सेवा करने वाले अनुसूचित जनजाति मोर्चा के प्रदेश संगठन प्रभारी, किसान मोर्चा प्रदेश उपाध्यक्ष और एसटी मोर्चा प्रदेश उपाध्यक्ष रहे बिश्राम मुंडा और जिला मंत्री रही उनकी पत्नी डिम्पल मुंडा ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है. टिकट नहीं मिलने पर पति-पत्नी ने नाता तोड़ लिया है.
बिश्राम मुंडा अपनी पत्नी डिम्पल मुंडा को हर हाल में मनोहरपुर से चुनाव लड़ाना चाहते हैं. कई दल उनके सम्पर्क में हैं, जिनसे बातचीत का दौर अंतिम चरण में है. डिम्पल मुंडा ने चुनाव लड़ने की पूरी तैयारी कर ली है और नामांकन पर्चा दाखिल करने के लिए पर्चा भी खरीद लिया है.
डिम्पल मुंडा के चुनाव लड़ने से मौजूदा बीजेपी प्रत्याशी गुरुचरण नायक को नुकसान होने की संभावना जतायी जा रही है. बिश्राम मुंडा और डिम्पल मुंडा के बागी बनने से विरोधियों की ताकत यहां बढ़ने वाली है.
बिश्राम मुंडा ने कहा की बीजेपी से वे 30 वर्षों से जुड़े रहे. पार्टी ने उन्हें जिला से लेकर प्रदेश स्तर तक कई जिम्मेदारी दी. इस दौरान उन्होंने मनोहरपुर में संगठन को मजबूत करने का काम किया. घर-घर जाकर लोगों को पार्टी से जोड़ा, लेकिन पार्टी ने हर बार उन्हें टिकट देने के नाम पर धोखा दिया. उन्होंने इसबार अपनी पत्नी को चुनाव लड़ने के लिए तैयार किया था. पार्टी के वरीय नेताओं ने भी उन्हें चुनाव की तैयारी करने व संगठन को मजबूत करने का निर्देश दिया था.
उन्होंने आरोप लगाया कि टिकट देने की जब बारी आई तो डिम्पल मुंडा का नाम काट दिया गया. पूर्व विधायक गुरुचरण नायक को मनोहरपुर से टिकट दे दिया गया. बिश्राम मुंडा ने कहा कि अब पार्टी में कर्मठ कार्यकर्ताओं को पूछने वाला कोई नहीं है. यहां जो लोग चापलूसी करते हैं वही आगे बढ़ते हैं. उनकी पत्नी डिम्पल मुंडा ने बताया कि जनता, समर्थक और कार्यकर्ता के आह्वान पर चुनाव मैदान में उतरेंगी. दोनों पति-पत्नी ने जीत का दावा किया है.