Corona: ये लक्षण महसूस हों तो फौरन जाएं अस्पताल, एम्स प्रमुख Randeep Guleria की सलाह
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Corona: ये लक्षण महसूस हों तो फौरन जाएं अस्पताल, एम्स प्रमुख Randeep Guleria की सलाह

भारत में कोरोना की दूसरी लहर (Corona Second Wave India) का कहर थमा नहीं है. नए कोरोना मरीज भले ही कुछ दिनों से कम हुए हों लेकिन मृतकों का ग्राफ कम होने का नाम नहीं ले रहा है. दिल्ली और नोएडा में ऑक्सीजन बैंक चालू होने से ये संकट खत्म होने की उम्मीद की जा रही हैं.

फाइल फोटो

नई दिल्ली: भारत में कोरोना की दूसरी लहर (Corona Second Wave India) का कहर थमा नहीं है. नए कोरोना मरीज भले ही कुछ दिनों से कम हुए हों लेकिन मृतकों का ग्राफ कम होने का नाम नहीं ले रहा है. दिल्ली और नोएडा में ऑक्सीजन बैंक चालू होने से ये संकट खत्म होने की उम्मीद की जा रही हैं. इस बीच कोरोना महामारी को लेकर लोगों की जिज्ञासा और सवाल बढ़ते जा रहे हैं. खास तौर पर कोरोना के लक्षणों को लेकर लोगों के मन में पैनिक है और ऐसे सवालों के जवाब की आस वो देश के बड़े और मशहूर डॉक्टरों से लगाए हुए हैं. 

  1. कोरोना के कहर के बीच नए मामलों में कमी
  2. मरने वालों के आंकड़े में नहीं आई कोई कमी
  3. 'एम्स निदेशक ने बताया कब जाएं अस्पताल'
  4.  

एम्स निदेशक की सलाह

इस बीच एम्स निदेशक रणदीप गुलेरिया ने महामारी बनी इस बीमारी के वॉर्निंग साइन को कैसे पहचानें और जरूरत पड़ने पर ही अस्पताल जाने की सलाह दी है. डॉ. गुलेरिया के इन सुझावों को केंद्र सरकार के ट्विटर हैंडल MyGovIndia (@mygovindia)  ने भी साझा किया है. इस जानकारी में लोगों से अपील की गई है कि वो फौरन अस्पताल की ओर दौड़ने की बजाए बीमारी के संकेत पहचानें और जरूरत पड़ने पर ही अस्पताल जाएं.

देखिए ट्वीट
 

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रखना होगा इन बातों का ध्यान

डॉ. गुलेरिया ने वीडियो में बताया कि लोगों को कोरोना के वॉर्निंग साइन के बारे में पता होना चाहिए. अगर आप होम आइसोलेशन में हैं तो लगातार डॉक्टर्स के संपर्क में रहें. हर राज्य में हेल्पलाइन की सुविधा बनाई गई है जहां मरीज सुबह-शाम फोन करके जानकारी हासिल कर सकते हैं.

डॉ गुलेरिया ने कहा, 'अगर किसी मरीज की सैचुरेशन 93 या इससे कम है या फिर तेज बुखार, छाती में दर्द, सांस में तकलीफ, सुस्ती या कोई अन्य गंभीर लक्षण नजर आ रहे हों तो तुरंत डॉक्टर्स से संपर्क करें या अस्पताल जाएं. इस स्थिति में मरीज को घर में रखना ठीक नहीं है. 

किस मोर्चे पर हुई चूक?

बताते चलें कि इससे पहले डॉ. गुलेरिया ने कहा था कि दूसरी लहर के बारे में वैज्ञानिकों को पहले से अंदाजा था. हालांकि, वायरस म्यूटेट होकर इतना ज्यादा कहर बरपाएगा, इसकी जानकारी किसी को नहीं थी. देश में रोजाना 4 लाख नए कोरोना मरीज मिलने की आशंका तो थी, लेकिन केस इतनी तेजी से बढ़ेंगे, ये किसी को नहीं पता था.

महामारी के हालात में देश के सरकारी हेल्थ सिस्टम पर पड़े अतिरिक्त बोझ को कम करने के लिए बिना लक्षण वाले या फिर बेहतर महसूस कर रहे लोग घरों में आइसोलेशन के दौरान कोरोना को हरा कर ठीक हो रहे हैं. ये देश के लिए अच्छा संकेत हैं. ऐसे में बिना कोरोना जांच कराए पहले लक्षणों से मिले संकेत समझने के बाद ही अस्पताल का रुख करना चाहिए. 

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