नई दिल्ली: दिल्ली में कोरोना वायरस (Corona Cases in Delhi) के बढ़ते मामलों के बीच नाइट कर्फ्यू (Night Curfew) की अटकलें लगाई जा रही हैं. हाई कोर्ट (High Court) ने दिल्ली सरकार  (Delhi Government) से कोरोना वायरस (Coronavirus) रोकथाम को लेकर किए जा रहे प्रयासों की जानकारी ली. इस दौरान दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार (Arvind Kejriwal Government) ने कर्फ्यू (Night Curfew) की सभी अटकलों पर फिलहाल विराम लगा दिया है.


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स्थिति गंभीर
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (CM Arvind Kejriwal) के नेतृत्व वाली AAP सरकार ने गुरुवार को दिल्ली उच्च न्यायालय (Delhi High Court) को बताया कि राष्ट्रीय राजधानी में COVID-19 महामारी को नियंत्रित करने के लिए फिलहाल कर्फ्यू  (Night Curfew) लगाने पर अभी कोई फैसला नहीं हुआ है. AAP सरकार ने हाई कोर्ट को बताया कि इस संबंध में कोई भी निर्णय आने वाले समय में राष्ट्रीय राजधानी में COVID-19 की स्थिति पर निर्भर करेगा. हाई कोर्ट ने दिल्ली में COVID-19 के कारण नवंबर में 2,000 से भी ज्यादा लोगों की मौत पर चिंता जाहिर की.


नकद लेनदेन नहीं
मौजूदा हालातों पर पर चिंता जाहिर करते हुए, हाई कोर्ट ने AAP सरकार से पूछा फिलहाल किस तरह का कोरोना प्रोटोकॉल है? शादी में 50 लोगों से ज्यादा उपस्थित न हो कैसे सुनिश्चत करेंगे? इसके अलावा HC ने COVID-19 जुर्माने तौर पर नकद लेनदेन से बचने की नसीहत देते हुए इसके लिए एक पोर्टल बनाने के लिए निर्देश दिए.

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जुर्माने का क्या उपयोग?
हाई कोर्ट ने यह भी पूछा है कि COVID-19 प्रोटोकॉल के उल्लंघन के एवज में एकत्र की गई रकम का क्या किया जा रहा है? इस रकम का एक अच्छे काम में इस्तेमाल करें. हाई कोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा कि कोर्ट के रुख के चलते दिल्ली सरकार द्वारा RTPCR परीक्षण संख्या बढ़ाई गई है, लेकिन तब तक कई लोगों की जान चली गई.


लगातार बढ़ रहे केस
आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार राष्ट्रीय राजधानी में 28 अक्टूबर से अब तक कोरोना वायरस के कारण 2,364 लोगों की मौत हो चुकी है. Covid​​-19 के मामलों और मौतों में वृद्धि के बीच, बुधवार को 99 लोगों की मौत के साथ ही कुल मौतों का आंकड़ा 8,720 हो गया है. बुधवार को पांच दिनों बाद पहली बार मौत का आंकड़ा 100 से नीचे रहा. आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, दिल्ली में 19 नवंबर को 98, 20 नवंबर को 118, 21 नवंबर को 111, 22 और 23 नवंबर को 121 और 24 नवंबर को 109 लोगों की मौत हुई.

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बढ़ता प्रदूषण बड़ा कारण
दिल्ली में कोरोनोवायरस मामलों की कुल संख्या बुधवार को 5,45,787 तक पहुंच चुकी है. जिनमें से 4,98,780 ठीक हो चुके हैं. स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि अस्पतालों में आईसीयू बेड की कमी, प्रतिकूल मौसम और बढ़ते प्रदूषण के कारण कोविड-19 के मामलों वृद्धि हो रही है. लोग अस्पताल में देर से पहुंच पाते हैं जो मौतों का प्रमुख कारण है.


तीसरी लहर खतरनाक
स्वास्थ्य मंत्रालय के एक अधिकारी ने कहा कि महामारी विज्ञान की प्रवृत्ति के अनुसार, इस बार कोरोना की गंभीरता पिछली लहर की तुलना में अधिक है, मौसम और प्रदूषण सहित कई कारक और चिंता बढ़ा रहे हैं. बढ़ते संक्रमण के बीच, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को विशेषज्ञों से COVID-19 से होने वाली मौतों के मामलों की जांच करने और राष्ट्रीय राजधानी में मृत्यु दर कम करने के उपायों पर सुझाव मांगा है.


सर्दी में बढ़ेगा खतरा
इस बीच नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल ने हाल ही में तैयार की गई एक रिपोर्ट में चेतावनी दी है कि आगामी सर्दी के मौसम में सांस  संबंधी मस्याओं और रोगियों के बड़ने की वजह से COVID-19 के लगभग 15,000 नए मामले सामने आ सकते हैं. इन हालातों से निपटने  के लिए तैयार रहना होगा.