कार चुराकर नागालैंड सप्लाई करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, 28 लग्जरी गाड़ियां बरामद
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कार चुराकर नागालैंड सप्लाई करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, 28 लग्जरी गाड़ियां बरामद

अपराध शाखा की ओर से गठित दल ने नरेन्द्र सिंह, लाल बहादुर और सारिक को मेरठ फ्लाईओवर के पास पकड़ा और उनके कब्जे से चोरी की स्कॉर्पियो बरामद की है. वाहन में नकली नंबर प्लेट रखीं हुईं थीं. अन्य आरोपी सोनू को हरियाणा से पकड़ा गया.

पुलिस द्वारा गिरोह से बरामद की गई चोरी की कारें

नई दिल्ली : दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा ने दिल्ली, हरियाणा, गुजरात, पंजाब, राजस्थान और पूर्वोत्तर में गाड़ियां चुराने वाले गिरोह का पर्दाफाश कर पांच लोगों को गिरफ्तार कर 28 लग्जरी वाहन बरामद किए हैं. गिरफ्तार लोगों के खिलाफ पहले से ही मोटर वाहन अधिनियम के तहत 50 मामले दर्ज हैं. अपराध शाखा की ओर से गठित दल ने नरेन्द्र सिंह, लाल बहादुर और सारिक को मेरठ फ्लाईओवर के पास पकड़ा और उनके कब्जे से चोरी की स्कॉर्पियो बरामद की है. वाहन में नकली नंबर प्लेट रखीं हुईं थीं. अन्य आरोपी सोनू को हरियाणा से पकड़ा गया.

  1.  हरियाणा, गुजरात, पंजाब, राजस्थान से करते थे चोरी
  2. एक्सीडेंट की कारों के कागजों का इस्तेमाल करते थे
  3. चोरी की कारों को कंटेनर से नागालैंड सप्लाई करते थे

पुलिस उपायुक्त राजेश राव ने कहा कि कि मामले की जांच जारी है और वाहन बरामद होने की उम्मीद है. पुलिस ने बताया कि यह गिरोह चोरी की कारों को कंटेनर में लाद कर पूर्वोत्तर राज्यों को सप्लाई करता था. पुलिस ने बताया कि एक टीम नागालैंड भी भेजी गई है ताकि वहां इस गिरोह से जुड़े लोगों को गिरफ्तार किया जा सके.

चोरी हो गई है आपकी कार या बाइक, सिर्फ 1 मिनट में ऐसे पता करें

पुलिस उपायुक्त राजेश राव ने बताया कि राहुल नारंग की हुंडई आई-20 कार 30 जुलाई को राजौरी गार्डन से चोरी हुई थी. इस मामले की छानबीन करते हुए पुलिस को इस गिरोह के सुराग मिले. खोजबीन करते हुए पुलिस ने नरेन्द्र सिंह, लाल बहादुर और सारिक को गिरफ्तार किया. इन लोगों ने बताया कि ये कार चुराकर करनाल निवासी सोनू को बेचते हैं. इसके बाद पुलिस ने 21 दिसंबर को सोनीपत से सोनू को गिरफ्तार किया. सोनू के पास से कार चोरी में काम आने वाले औजार भी मिले. 

पुलिस ने बताया कि सोनू पहले एक वर्कशॉप में कार मैकेनिक था. नौकरी छोड़ने के बाद उसने कार चुराने का काम शुरू कर दिया. इस काम के लिए वह कोड-डिकोड स्केनर, ईसीएम, बीसीएम आदि उपकरण रखता था. सोनू वाहन चुराने के बाद उसके कागजों को एक्सीडेंट में पूरी तरह खत्म हो चुके वाहनों के कागजों के साथ मिला देता था और खत्म हो गए वाहनों के इंजन और चेसिस नंबर को चोरी के वाहनों से बदल देता था. इस काम के लिए वह एक्सीडेंट हुए वाहनों को खरीदता था. बाद में चोरी के वाहनों को कंटेनर में लाद कर नागालैंड सप्लाई करता था. 

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