दिल्ली पुलिस ने ठक-ठक गिरोह के 9 सदस्‍यों को गिरफ्तार किया
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दिल्ली पुलिस ने ठक-ठक गिरोह के 9 सदस्‍यों को गिरफ्तार किया

  दिल्ली चंडीगढ़ का रास्ता जितना लंबा है उतनी लंबी इनके गुनाहों की फेहरिस्त है। दक्षिण भारत का कुख्यात 9 सदस्यीय गिरोह क्राइम ब्रांच के शिकंजे में फंसा है। क्राइम ब्रांच के हिस्से में इसे साल की अब तक की बड़ी कामयाबी के रूप में माना जा रहा है। पूछताछ में चार दिन पहले कनॉट प्लेस इलाके में दलाई लामा के सचिव की कार से एक लाख कैश व सामान की लूट और दिसंबर में दरियागंज इलाके में मुंबई के हीरा कारोबारी से डेढ़ करोड़ के हीरों की लूट सुलझ गई है। इसके अलावा दिल्ली के 12 केस भी खुल गए हैं। 9 शातिर बदमाशों से हजारों की रिकवरी व अन्य सामान बरामद हुए हैं।

नई दिल्ली:  दिल्ली चंडीगढ़ का रास्ता जितना लंबा है उतनी लंबी इनके गुनाहों की फेहरिस्त है। दक्षिण भारत का कुख्यात 9 सदस्यीय गिरोह क्राइम ब्रांच के शिकंजे में फंसा है। क्राइम ब्रांच के हिस्से में इसे साल की अब तक की बड़ी कामयाबी के रूप में माना जा रहा है। पूछताछ में चार दिन पहले कनॉट प्लेस इलाके में दलाई लामा के सचिव की कार से एक लाख कैश व सामान की लूट और दिसंबर में दरियागंज इलाके में मुंबई के हीरा कारोबारी से डेढ़ करोड़ के हीरों की लूट सुलझ गई है। इसके अलावा दिल्ली के 12 केस भी खुल गए हैं। 9 शातिर बदमाशों से हजारों की रिकवरी व अन्य सामान बरामद हुए हैं।

क्राइम ब्रांच के जाइंट पुलिस कमिश्नर रविंद्र यादव ने बताया कि चार दिन पहले धर्म गुरु दलाई लामा के सचिव तेरिंग धोनदुप अपनी इनोवा कार से कनॉट प्लेस एरिया के बरिस्टा कॉफी कैफे में आए हुए थे। इसी दौरान जब वह जाने लगे तो किसी ने आवाज लगाकर इशारा दिया कि कार के पास 10 के नोट बिखरे पड़े हैं। इतने में ही कार की दूसरी साइड से उनका बैग लूट कर ले गए।

बैग में एक लाख कैश, यूएसए का पासपोर्ट, मोबाइल, डेबिट कार्ड व अन्य जरुरी सामान रखा था। इस केस की एफआईआर कनॉट प्लेस थाने में दर्ज हुई। लगातार हो रही वारदातों से दिल्ली पुलिस हैरान थी। जिस तर्ज पर वारदातें हो रही थी उससे मालूम चल चुका था कि यह गिरोह तमिलनाडु वाला है।  इस गिरोह को पकड़ने के लिए कुछ दिनों से क्राइम ब्रांच की 25 सदस्यीय टीम लगी हुई थी और कल उस वक्त कामयाबी हाथ लगी, जब सीक्रेट इनपुट मिला कि चंडीगढ़ से दिल्ली यह गिरोह आ रहा है। दिल्ली बाईपास मुकरबा चौक पर जाल बिछाकर गिरोह को पकड़ लिया। 9 आरोपियों की पहचान कामरान, रंगनाथन, प्रभाकर, अकिलन, पेरुमल, स्टालिन, मुथु कुमार, लोगनाथन और श्रवण कुमार के तौर पर हुई। सभी तमिलनाडु के तिरुचिरापल्ली के रहने वाले हैं। इनके कब्जे से करीब 65 हजार कैश, कई मोबाइल फोन और सामान मिला है।

पूछताछ की गई तो इन्होंने कबूल किया कि 15 दिसंबर 2014 को दरियागंज इलाके के सुभाष नगर में मुंबई के हीरा कारोबारी से डेढ़ करोड़ के हीरों से भरा बैग इसी तरह लूटा था। सभी बदमाश वारदात में मोटी रकम हाथ लगते ही तमिलनाडु रवाना हो जाते थे और वहां तिरुचिरापल्ली की बैंक में सारा कैश डिपोजिट कर आते थे। फिर गैप के बाद वापस दिल्ली के हजरत निजामुद्दीन इलाके में रहने लगते थे। इनके निशाने पर ज्यादातर पुरानी दिल्ली के इलाके रहते थे। इन्होंने दिल्ली के बाद चंडीगढ़ में भी ठिकाना बना रखा था। गिरफ्तारी के वक्त ये लोग चंडीगढ़ के सेक्टर 3 और 7 में वारदात करके दिल्ली आ रहे थे। वारदात करने के लिए ये कार सवार शख्स का ध्यान भटकाने के लिए उसकी गाड़ी के आसपास नोट बिखेर देते हैं, या बोनट से तेल लीक होने का झांसा देते हैं। जैसे ही कार सवार उस तरफ देखता है उतने में ही ये बदमाश बैग व सामान लेकर फरार हो जाते। शुरुआती पूछताछ में 12 बड़ी वारदातें इन्होंने कबूल की हैं जो दिल्ली में ही अंजाम दी गई थी। पूछताछ जारी है।

 

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