70 से 80 महिलाए चांद बाग इलाके में घटना के वक्त मौजूद दिखी हैं. जिसमे ज्यादातर महिलाओं ने पुलिस टीम पर हमला किया था.
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नई दिल्ली: उत्तर पूर्वी दिल्ली हिंसा (Delhi Violence) मामले में पुलिस के हाथ बड़ी कामयाबी लगी है. चांद बाग (Chand Bagh) इलाके में हेड कॉन्स्टेबल रत्न लाल मर्डर केस, DCP अमित शर्मा और एसीपी अनुज कुमार पर हमले में शामिल 6 महिलाओं की क्राइम ब्रांच SIT ने पहचान की है. अब इन महिलाओं को जल्द ही हिरासत में लेकर की पूछताछ की जाएगी, ऐसा भी बताया जा रहा है कि पूछताछ के बाद इनकी गिरफ्तारी भी संभव है.
खबर है कि एसआईटी को महिलाओं के खिलाफ अहम सबूत हाथ लगे हैं जिसको लेकर महिलाओं के ठिकानों पर छापे मारे जा रहे हैं.बता दें कि करीब 70 से 80 महिलाए चांद बाग इलाके में घटना के वक्त मौजूद दिखी हैं. जिसमे ज्यादातर महिलाओं ने पुलिस टीम पर हमला किया था.
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अधिकतर महिलाओं ने बुर्के पहन रखे थे. इसलिए उन्हें पकड़ना पुलिस के लिए मुश्किल हो रहा है. पर मौके से मिले वीडियो फुटेज और सर्विलांस के जरिए 6 महिलाओं की पहचान कर ली गई है. जिनको लेकर पुलिस जल्द खुलासा कर सकती है.
24 फरवरी का वो दिन जब उपद्रवियों ने मचाया तांडव
उत्तर पूर्वी दिल्ली में 24 फरवरी को हुई हिंसा में डीसीपी शाहदरा अमित शर्मा को पत्थरबाजी के दौरान चोट आई थी. उन्हें मैक्स अस्पताल में भर्ती कराया गया था जहां उनकी हालत गंभीर बनी रही.
डीसीपी शहादरा अपनी फोर्स के साथ नार्थ ईस्ट जिले के दयालपुर थाना इलाके के चांद बाग में डयूटी पर मौजूद थे. तभी उन पर हमला किया गया और उनकी गाड़ी में आग लगाई गई. इस पथराव में डीसीपी शाहदरा अमित शर्मा को पत्थर लगे जिसके बाद उन्हें दूसरी सरकारी गाड़ी से मैक्स अस्पताल ले जाया गया. जहां उनकी न्यूरो सर्जरी भी की गई. उनके ब्रेन में क्लोटिंग हो गई थी.
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उसी वक्त मौके पर मौजूद पुलिस फोर्स ने अपने वायरलैस सेट से पुलिस कंट्रोल रूम को जानकारी दी, 'डीसीपी की गाड़ी में चांद बाग मजार के पास आग लगा दी गई है.' इस दिन हुई हिंसा में एसीपी अनुज कुमार भी हिंसा का शिकार हुए. उन्हें भी गंभीर चोट आई थी. इसी दिन हेड कॉन्स्टेबल रतन लाल भी दंगाइयों को शांत करवाने की कोशिश में शहीद हो गए थे.