मनीष सिसोदिया ने कहा, सिख छात्रों को परीक्षा हॉल में कृपाण ले जाने की मिले इजाजत
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मनीष सिसोदिया ने कहा, सिख छात्रों को परीक्षा हॉल में कृपाण ले जाने की मिले इजाजत

सिसोदिया ने डीएसएसएसबी को निर्देश दिया कि वह बोर्ड की ओर से आयोजित की जाने वाली परीक्षाओं के दौरान सिख अभ्यर्थियों को उनके धार्मिक प्रतीक पहनने की इजाजत दें.

दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया. (फाइल फोटो)

नई दिल्ली: दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने शनिवार (16 दिसंबर) को दिल्ली अधीनस्थ सेवाएं चयन बोर्ड (डीएसएसएसबी) को निर्देश दिया कि वह बोर्ड की ओर से आयोजित की जाने वाली परीक्षाओं के दौरान सिख अभ्यर्थियों को उनके धार्मिक प्रतीक पहनने की इजाजत दें. सेवा मामलों का प्रभार भी संभाल रहे सिसोदिया ने आज (शनिवार, 16 दिसंबर) डीएसएसएसबी के अध्यक्ष को इस मुद्दे के बारे में पत्र लिखा. उन्होंने लिखा कि यह पता चला है कि एक सिख छात्र को डीएसएसएसबी की ओर से हाल में आयोजित एक हालिया परीक्षा में ‘‘कड़ा और कृपाण’’ पहनने की इजाजत नहीं दी गई.

  1. मनीष सिसोदिया ने संविधान के अनुच्छेद 25 का दिया हवाला.
  2. एक सिख छात्र को हालिया परीक्षा में 'कड़ा और कृपाण' पहनने की इजाजत मिली.
  3. सिसोदिया ने डीएसएसएसबी के अध्यक्ष को इस मुद्दे के बारे में पत्र लिखा.

संविधान के अनुच्छेद 25 का हवाला देते हुए सिसोदिया ने कहा, ‘‘यह असंवैधानिक है.’’ अनुच्छेद 25 सभी व्यक्ति को अपने धर्म का पालन करने और उसका प्रचार करने का अधिकार देता है. उन्होंने पत्र में लिखा कि डीएसएसएसबी के अध्यक्ष को इस बाबत जरूरी निर्देश जारी करने का आदेश दिया जाता है.

केजरीवाल ने मनमाने ढंग से फीस में वृद्धि को लेकर स्कूलों को चेताया
मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने दिल्ली के निजी स्कूलों को मनमाने तरीके से फीस वृद्धि करने पर ‘कड़ी कार्रवाई’ का सामना करने की चेतावनी दी है. उनकी यह चेतावनी ऐसी खबरों के बीच आई है, जिसमें कहा गया है कि निजी स्कूलों ने सातवें केंद्रीय वेतन आयोग (सीपीसी) की अनुशंसा के अनुपालन के लिए फीस में उल्लेखनीय वृद्धि की है. अक्टूबर में दिल्ली सरकार ने डीडीए की जमीन पर चल रहे मान्यता प्राप्त गैर-वित्त पोषित निजी स्कूलों को सीपीसी की सिफारिशों को लागू करने के लिए ‘अंतरिम’ उपाय के तौर पर फीस में 15 प्रतिशत की वृद्धि की अनुमति दे दी थी.

केजरीवाल ने ट्वीट किया, ‘‘पूरी दिल्ली के अभिभावकों ने पिछले दिनों मुझसे मुलाकात की और स्कूलों द्वारा सातवें वेतन आयोग (की सिफारिशों) को लागू करने के लिए एरियर सहित बहुत अधिक फीस की मांग किये जाने की शिकायत की. इस पर विराम लगना चाहिए. मैंने शिक्षा विभाग को पूरी स्थिति की समीक्षा करने और इसे रोकने के लिए तत्काल कदम उठाने का निर्देश दिया है.’’ उन्होंने एक अन्य ट्वीट में कहा, ‘‘कोई भी स्कूल किसी छात्र को परेशान ना करे अन्यथा सरकार कड़ी कार्रवाई से पीछे नहीं हटेगी.’’ 

केजरीवाल ने वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने के लिए निजी स्कूलों द्वारा फीस में कथित तौर पर मनमानी वृद्धि से पैदा हुई स्थिति की समीक्षा के लिए आज एक बैठक बुलाई थी. बैठक के बाद उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि अगर निजी स्कूल कारोबारी संगठनों की तरह पेश आएंगे तो उन्हें भी नहीं बख्शा जाएगा.

(इनपुट एजेंसी से भी)

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