नई दिल्‍ली: आज की सबसे बड़ी खबर ये है कि भारत को दुनिया में बदनाम करने के लिए टूल किट बनाने वाली दिशा रवि और स्वीडन की मशहूर पर्यावरण कार्यकर्ता ग्रेटा थनबर्ग के बीच वाट्सऐप पर हुई बातचीत अब सामने आ चुकी है और ये ज़ी न्‍यूज़ की बहुत बड़ी जीत है. 


भारत के खिलाफ एक्‍शन पॉइंट्स 


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आपको याद होगा 3 फरवरी को हमने इस टूल किट के बारे में बताया था और तब हमने एक हैशटैग दिया था, ये हैशटैग था Greta Thunberg Exposed. उस समय ये हैशटैग दुनियाभर में ट्विटर पर तीसरे नंबर पर ट्रेंड कर रहा था. ग्रेटा थनबर्ग और दिशा रवि भी इस हैशटैग को फॉलो कर रही थीं और उन्हें समझ आ गया था कि Zee News ने उनकी पोल खोल दी है. 


हमारे पास दिशा रवि और ग्रेटा थनबर्ग के बीच 3 फरवरी को हुई वाट्सऐप चैट की एक कॉपी है और महत्वपूर्ण बात ये है कि दिशा रवि और ग्रेटा थनबर्ग के बीच ये बातचीत उस समय हुई थी, जब हम इस टूल किट के साथ आपके सामने आए थे. ये टूल किट ग्रेटा थनबर्ग ने गलती से अपने ट्विटर अकाउंट पर अपलोड कर दी थी, जिसमें किसान आंदोलन को लेकर भारत के खिलाफ एक्‍शन पॉइंट्स लिखे गए थे. 


हमने 3 फरवरी की रात 9 बज कर 12 मिनट पर इस टूल किट को पढ़ना शुरू किया था और आपको जानकर आश्चर्य होगा कि इसके कुछ मिनटों के बाद ही दिशा रवि और ग्रेटा थनबर्ग ने भारत के खिलाफ अपने मिशन का अबॉर्ट बटन दबा दिया था. ये ठीक उसी तरह है जैसे युद्ध छेड़ने से पहले कोई दुश्मन अपने मिशन को अबॉर्ट कर देता है. यानी मिशन को रोक देता है.


अगर हम उस दिन ग्रेटा थनबर्ग को एक्सपोज नहीं करते तो शायद आज भारत में किसान आंदोलन की स्थिति कुछ और होती. आप कह सकते हैं कि भारत के खिलाफ इन लोगों ने योजनाएं और साजिशें तो बहुत बड़ी-बड़ी बनाई थीं लेकिन Zee News इनके रास्ते में आ गया.


हमने तभी इन ताकतों को रोक दिया और किसान आंदोलन की आड़ में चलाए जा रहे विदेशी प्रोपेगेंडा की पोल खोल दी. इस खबर में आज एक संदेश भी छिपा है कि अगर मीडिया चाहे तो देश के खिलाफ साजिश को रोकने में बहुत बड़ी भूमिका निभा सकता है. जैसा कि हमने किया. 



ग्रेटा थनबर्ग और दिशा रवि की वाट्सऐप चैट


आज हम आपको दो टाइमलाइन के बारे में बताएंगे. पहली टाइमलाइन है, जब 3 फरवरी को हमने ग्रेटा थनबर्ग द्वारा शेयर की गई टूल किट के पन्ने पलटने शुरू किए और दूसरी टाइमलाइन उन लोगों की है जिनकी पोल खुल गई थी और वो एग्जिट का रास्ता ढूंढ रहे थे. 


3 फरवरी को हमने ग्रेटा थनबर्ग को एक्सपोज किया था और हमारी इस खबर के बाद टूल किट बनाने वाले टुकड़े-टुकड़े गैंग के लोग, जो भारत के ही हैं. वो बुरी तरह डर गए थे. ये सब कैसे और कब कब हुआ. अब आपको उसके बारे में बताते हैं. 


3 फरवरी को रात के 9 बजे हमने आपको ग्रेटा थनबर्ग द्वारा शेयर की गई  के बारे में बताया और 9 बज कर 12 मिनट पर मैंने इस टूल किट में लिखी बातें पढ़नी शुरू की थी. इसके कुछ मिनटों बाद ही हमने जो हैशटैग आपको दिया था. Greta Thunberg Exposed, वो ट्विटर पर ट्रेंड करने लगा और इसी दौरान दिशा रवि और ग्रेटा थनबर्ग के बीच वाट्सऐप पर बातचीत हुई थी. 


9 बज कर 23 मिनट पर ग्रेटा थनबर्ग ने देशद्रोह के आरोप में गिरफ्तार हुईं दिशा रवि को दो नए लिंक भेजे थे. ये दोनों लिंक उस दिन ट्विटर पर शेयर की गई टूल किट से जुड़े थे. 


दिशा रवि को ये लिंक्‍स भेजने के बाद ग्रेटा अपने अगले मैसेज में अपशब्द लिखती हैं. मतलब वो यहां ये बता रही हैं कि कुछ ठीक नहीं हुआ है. 


इसके दो मिनट बाद 9 बज कर 25 मिनट पर ग्रेटा दिशा रवि को लिखती हैं - ये बहुत अच्छा होगा अगर इसे तैयार कर लिया जाए. यहां इसे का मतलब नई टूल किट से है. ग्रेटा फिर लिखती हैं कि मुझे इसकी वजह से बहुत सारी धमकियां मिलेंगी और ये मामला अब काफी बड़ा रूप ले रहा है. इस पर दिशा, ग्रेटा को रिप्लाई करती हैं,  Shit.. Shit..


9 बज कर 25 मिनट पर ही दिशा, ग्रेटा को एक और मैसेज लिखती है कि मैं तुम्हें अभी भेज रही हूं. ये बात वो टूलकिट को लेकर कह रही हैं.  इसके बाद दोनों के बीच 10 मिनट तक कोई बातचीत नहीं होती.  इस समय जो हैशटैग हमने आपको दिया था वो दुनियाभर में ट्रेंड करने लगा था और शायद ग्रेटा थनबर्ग और दिशा रवि भी इस हैशटैग को फॉलो कर रही थीं क्योंकि, 9 बज कर 25 मिनट पर हमने आपको ये बताना शुरू किया था कि इस Tool Kit में भारत पर डिजिटल स्ट्राइक की बात लिखी है. हमने आपको बताया था कि भारत पर Ask India Why नाम से डिजिटल स्ट्राइक करने की योजना है और ये भी पहले से ही तय था कि 26 जनवरी को जब भारत में गणतंत्र दिवस मनाया जा रहा होगा उसी समय अलग-अलग देशों में प्रदर्शन और रैलियां निकाली जाएंगी. 


इसके अलावा हमने आपको ये भी बताया था कि इस टूल किट में 26 जनवरी के बाद की भी पूरी योजना लिखी है. जैसे चार और पांच फरवरी को बड़ा ट्विटर अभियान चलाया जाएगा और ये अभियान ट्विटर स्‍टॉर्म नाम से होगा. 13 और 14 फरवरी को विदेशों में भारतीय दूतावास और सरकारी संस्थानों के आस पास बड़े प्रदर्शन किए जाएंगे और किसान आंदोलन के समर्थन में ट्वीट करते हुए World Bank और International Monetary Fund को भी टैग किया जाएगा.  यानी भारत को अस्थिर करने के लिए इनके पास 26 जनवरी के बाद की भी पूरी प्‍लानिंग थी. 


यही नहीं 9 बज कर 33 मिनट पर हमने आपको ये बता दिया था कि रिहाना और ग्रेटा थनबर्ग ने जिस हैशटैश Farmers Protest पर ट्वीट किया है, उसका जिक्र इस टूल किट में भी है. शायद यही वजह है कि दिशा रवि 9 बज कर 35 मिनट पर ग्रेटा को एक मैसेज भेजती हैं, जिसमें वो लिखती है कि क्या ये सम्भव है कि टूल किट को ट्वीट नहीं किया जाए? यानी दिशा रवि यहां ग्रेटा थनबर्ग को टूल किट पर कुछ भी कहने और बताने से मना कर रही है और आपको याद होगा कि उस दिन लगभग इसी समय ग्रेटा ने ये टूल किट अपने ट्विटर अकाउंट से डिलीट कर दी थी. क्योंकि, 9 बज कर 35 मिनट पर ही दिशा रवि ने ग्रेटा को एक मेसेज भेजा था और उसमें वो लिखती है कि क्या हम सभी कुछ देर के लिए खामोश नहीं हो सकते? मैं अपने वकीलों से बात कर रही हूं. मुझे माफ करना लेकिन हमारे नाम टूल किट में मौजूद हैं और इसकी वजह से हमारे ऊपर यूएपीए एक्ट के तहत कार्रवाई हो सकती है. 


दिशा रवि को पता था कि UAPA Act के तहत हो सकती है कार्रवाई


भारत में देशविरोधी और आतंकवादी गतिविधियों से जुड़े मामलों में Unlawful Activities Prevention Act के तहत कार्रवाई होती है और दिशा रवि उसी दिन ये समझ गई थी कि उसने जो भी किया है, उसके लिए UAPA Act के तहत कार्रवाई हो सकती है. 


इस पर ग्रेटा  9 बज कर 40 मिनट पर मैसेज करती हैं कि वो इस पूरे विषय पर लिखना चाहती हैं. लेकिन दिशा उन्हें ऐसा करने से रोक देती है.  दिशा रवि इसके एक मिनट बाद अपने जवाब में लिखती है कि I am Really Really Sorry. हम यहां सभी घबराए हुए हैं क्योंकि, यहां स्थिति हमारे खिलाफ जाती हुई दिख रही हैं.  दिशा रवि इसके बाद एक और मैसेज लिखती है कि हम ये सुनिश्चित करेंगे कि ग्रेटा का नाम इस मामले से न जुड़े. वो अपने एक दूसरे मैसेज में ये भी लिखती है कि उसे अब सारे सोशल अकाउंट्स डिलीट करने होंगे. 


यानी 3 फरवरी को जब हमने देश को टूल किट का सच बताया तभी दिशा रवि ये समझ गई थी कि इस षड्यंत्र की पोल खुल चुकी है. दिशा रवि की उम्र 22 साल है और ग्रेटा थनबर्ग की उम्र 18 साल है.  लेकिन इन्हें इस उम्र में भी ये पता है कि कैसे एक आंदोलन के जरिए भारत की छवि को अंतरराष्‍ट्रीय स्तर पर खराब किया जा सकता है. 


इससे ये भी पता चलता है कि इन लोगों ने किसान आंदोलन को लेकर कई तरह की योजनाएं बनाई हुई थी और ये लोग आंदोलन के नाम पर भारत के खिलाफ कई तरह की टूल किट पर काम कर रहे थे. लेकिन Zee News इन लोगों के रास्ते में आ गया और इस मिशन को 3 फरवरी को ही अबॉर्ट करना पड़ा. 


हैशटैग Greta Thunberg Exposed पर 3 लाख 28 हजार से भी ज्‍यादा ट्वीट


हमें रोकने के लिए कई तरह की कोशिशें हुईं. हमारे खिलाफ सोशल मीडिया पर अभियान चलाया गया. हमें किसान आंदोलन में कवरेज करने से रोका गया और हमें ट्रोल करने की कोशिश भी हुई. लेकिन Zee News सच के साथ खड़ा रहा और हमारी ये बात सही साबित हुई कि किसान आंदोलन में झूठ का AQI खतरनाक स्तर पर पहुंच चुका है और इस आंदोलन को कनाडा जैसे देशों से ऑक्‍सीजन मिल रही है. हमने ये भी बताया कि अगर मीडिया चाहे तो वो भारत के खिलाफ काम करने वाली ताक़तों और टूल किट गैंग को रोक सकता है और उन्हें नाकाम कर सकता है. हालांकि आज हमारी इस सफलता के लिए हम आपको भी धन्यवाद देना चाहते हैं क्योंकि, 3 फरवरी को हुए DNA के Facebook Live को अब तक 13 लाख लोग देख चुके हैं. उस दिन हमने आपको एक हैशटैग Greta Thunberg Exposed दिया था.  ये हैशटैग उस समय ट्विटर पर भारत में नंबर 1 पर ट्रेंड कर रहा था और दुनियाभर में ये तीसरे स्थान पर था.


इस हैशटैग पर तीन लाख 28 हजार से भी ज्‍यादा ट्वीट हुए.  इसके अलावा यूट्यूब  पर भी 3 फरवरी के DNA Show को अब तक 7 लाख 78 हजार से ज्‍यादा लोग देख चुके हैं. ये है आपकी असली ताकत. कहते हैं कि अगर ताकत का इस्तेमाल सही जगह और सही काम के लिए किया जाए तो परिणाम हमेशा अच्छा होता है और इस खबर में भी ऐसा ही हुआ है. 


आज आप कह सकते हैं कि ग्रेटा थनबर्ग और दिशा रवि के पर्यावरण प्रेम में भारत के खिलाफ दुष्प्रचार की रणनीति छिपी हुई थी, जिसे Zee News ने एक्सपोज कर दिया है.