संयुक्त राष्ट्र ने माना भारत की महिला कमांडो की ताकत का लोहा, हैती में जाएंगी हालात सुधारने
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संयुक्त राष्ट्र ने माना भारत की महिला कमांडो की ताकत का लोहा, हैती में जाएंगी हालात सुधारने

सीआईएसएफ के वरिष्‍ठ अधिकारी के अनुसार महिला कमांडो का दस्‍ता हैती की राष्ट्रीय पुलिस को जनता की सुरक्षा में सहायता करेगा.

यूनाइटेड नेशन्‍स मिशन के तहत 26 मार्च 2018 को सीआईएसएफ के 140 कमांडो का एक दस्‍ता कमांडेंट धनंजय शुक्‍ल के नेतृत्‍व में हैती के लिए रवाना हुआ था. प्रतीकात्मक तस्वीर साभार: AP

नई दिल्ली: भारतीय सुरक्षा एजेंसियों की कार्यकुशलता का डंका हिंदुस्‍तान ही नहीं, बल्कि विश्‍व पटल पर भी बजने लगा है. इसी का नतीजा है कि हैती की महिला पुलिस को प्रशिक्षित करने सहित शांति बहाली के लिए यूनाइटेड नेशन्‍स ने पीस मिशन के तहत सीआईएसएफ की महिला कमांडो की टुकडी को हैती में तैनात करने का अनुरोध भेजा है. यूनाइटेड नेशन्‍स के अनुरोध को स्‍वीकार करते हुए सीआईएसएफ ने महिला कमांडो की एक टुकड़ी का चयन शुरू कर दिया है. चयन प्रक्रिया पूरा होने के बाद इन महिला कमांडो के दस्‍ते को कठोर प्रशिक्षण देने के बाद हैती के लिए रवाना किया जाएगा. संभावना जाहिर की जा रही है कि वर्ष के मध्‍य में महिला कमांडो का दस्‍ता हैती के लिए रवाना हो जाएगा. उल्‍लेखनीय है कि इतिहास में पहली बार होगा जब भारतीय सुरक्षा एजेंसियों का महिला दस्‍ता यूनाइटेड नेशन्‍स के मिशन पर देश से बाहर भेजा जाएगा. 

  1. पहली बार सीआईएसएफ का महिला कमांडो दस्‍ता हैती के लिए होगा रवाना
  2. सभी अत्‍याधुनिक हथियारों को चलाने में प्रशिक्षित होंगाा महिला कमांडो दस्‍ता  
  3. हैती के राष्‍ट्रपति सहित सभी गणमान्‍य व्‍यक्तियों की सुरक्षा सीआईएसएफ के जिम्‍मे 

सीआईएसएफ के वरिष्‍ठ अधिकारी के अनुसार महिला कमांडो का दस्‍ता हैती की राष्ट्रीय पुलिस को जनता की सुरक्षा में सहायता करेगा.  यह दल हैतीयन राष्ट्रीय पुलिस के माध्यम से हैती में कानून व्यवस्था बनाए रखने में भी मदद करेगा. इसके अलावा, दल की प्रमुख जिम्मेदारियों में नागरिकों की सुरक्षा और संयुक्त राष्ट्र कर्मियों, प्रतिष्ठानों एवं उपकरणों की रक्षा करना प्रमुख है. उन्‍होंने बताया कि हैती के राष्‍ट्रपति सहित सभी गणमान्‍य व्‍यक्तियों और राष्‍ट्रपति भवन की सुरक्षा सीआईएसएफ के पास है. सीआईएसएफ में बीते कई वर्षों से फैली हिंसा को रोकने में सीआईएसएफ ने हैती में अहम भूमिका अदा की है. 

कठोर प्रशिक्षण के बाद कमांडो का होता है यूएन मिशन के लिए चयन
सीआईएसएफ के वरिष्‍ठ अधिकारी के अनुसार यूनाइटेड मिशन के अंतर्गत हैती जाने वाले कमांडो दस्‍ते को पहले कठोर प्रशिक्षण दिया जाता है. प्रशिक्षण के दौरान सभी कमांडो को सभी प्रकार के हथियारों को चलाने के प्रशिक्षण के साथ भीड़ नियंत्रण, बंधक जैसी स्थिति से निपटने के लिए प्रशिक्षण दिया जाता है. प्रशिक्षण के उपरांत कमांडो दस्‍ते का चयन एक प्रक्रिया के तहत पूरा किया जाता है. हैती जाने से पहले सभी कमांडो को लेफ़ट हैंड ड्राइविंग का प्रशिक्षण भी दिया जाता है. उल्‍लेखनीय है कि भारत एवं बांग्‍लादेश सहित चुनिंदा देश ऐसे हैं जहां पर राइट हैंड ड्राइविंग है. इन देशों के अलावा विश्‍व के सभी देशों में लेफ़ट हैंड ड्राइविंग की व्‍यवस्‍था है. 

हैती में ‘ब्लयूस इंडियंस’ के नाम से मशहूर है भारतीय सुरक्षा बल 
सीआईएसएफ के वरिष्‍ठ अधिकारी के अनुसार संयुक्‍त राष्‍ट्र मिशन के तहत हैती में तैनात सीआईएसएफ के  कमांडो  की पहचान सीआईएसएफ फार्मड पुलिस यूनिट (एफपीयू) के तौर पर है. कमांडो की वर्दी का रंग आसमानी नीला होने की वजह से सीआईएसएफ की फार्मड पुलिस यूनिट हैती में ‘ब्लयूस इंडियंस’ के नाम से भी मशहूर है.

2008 से हैती में यूनाइटेड नेशन्‍स मिशन का हिस्‍सा है सीआईएसएफ  
सीआईएसएफ के अनुसार उनकी फामर्ड पुलिस यूनिट 2008 से लगातार हैती में यूनाइटेड नेशन्‍स मिशन के हिस्‍से के तौर पर तैनात है. यूनाइटेड नेशन्‍स द्वारा लगातार सीआईएसएफ दल के सराहनीय कार्य की समय-समय पर प्रशंसा की गई है.

गत माह भी सीआईएसएफ के 140 कमांडो का दस्‍ता गया है हैती
यूनाइटेड नेशन्‍स मिशन के तहत 26 मार्च 2018 को सीआईएसएफ के 140 कमांडो का एक दस्‍ता कमांडेंट धनंजय शुक्‍ल के नेतृत्‍व में हैती के लिए रवाना हुआ था. इस दस्‍ते को सीआईएसएफ के तत्‍कालीन कार्यवाहक महानिदेशक आलोक कुमार पटेरिया ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया था.

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