मैं अब VHP में नहीं हूं, अनिश्चितकालीन अनशन करूंगा: प्रवीण तोगड़िया
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मैं अब VHP में नहीं हूं, अनिश्चितकालीन अनशन करूंगा: प्रवीण तोगड़िया

तोगड़िया ने यह घोषणा विहिप के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए उनके उम्मीदवार के वोटिंग में हारने के बाद की.

तोगड़िया ने चुनाव के बाद कहा कि वे हिंदुओं की आवाज बने रहेंगे...(फाइल फोटो)

नई दिल्ली: पिछले तीन दशक से ज्यादा समय से विश्व हिंदू परिषद (विहिप) से जुड़े रहे प्रवीण तोगड़िया ने शनिवार को संगठन छोड़ने की घोषणा की और कहा कि वह हिंदुत्व के मुद्दे को प्रचारित करने के लिए मंगलवार से अनिश्चितकालीन अनशन करेंगे. दिसंबर 2011 से विहिप के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष के पद पर रहे तोगड़िया ने एक प्रेस कांफ्रेंस में यह घोषणा उस वक्त की जब विहिप के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए उनके उम्मीदवार को वोटिंग में हार का सामना करना पड़ा. विहिप के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए पांच दशकों में पहली बार चुनाव कराए गए हैं. 

तोगड़िया ने कहा, ‘‘मैं अब विहिप में नहीं हूं. मैं 32 साल तक इसमें था. हिंदुओं के कल्याण के लिए मैंने अपना घर छोड़ा और अच्छी - खासी मेडिकल प्रैक्टिस छोड़ी. ‘हिंदू पहले’ मेरी जिंदगी का मिशन है और मंगलवार से मैं अहमदाबाद में अनिश्चितकालीन अनशन करूंगा ताकि हिंदुओं की लंबे समय से लंबित मांगें पूरी की जा सके.’’ 

उन्होंने अयोध्या में एक राममंदिर निर्माण, गोहत्या पर रोक के लिए कानून बनाने और अनुच्छेद 370 और 35 (ए) समाप्त करने के लिए साथ मिलकर काम करने की जरूरत पर बल दिया. अनुच्छेद 370 जम्मू कश्मीर को स्वायत्त दर्जा देता है जबकि अनुच्छेद 35ए उसके विधानमंडल को राज्य के ‘‘स्थायी निवासियों’’, उनके विशेष अधिकारों और विशेषाधिकारों को परिभाषित करने का अधिकार देता है. तोगड़िया ने आरोप लगाया कि चुनाव में अनियमितता का प्रयास किया गया. उन्होंने एक बयान में कहा, ‘‘यह देखना ‘‘हैरान करने वाला और दुखद’’ है कि विहिप को सत्ता के आगे ‘‘हिंदुओं की भलाई के लिए नहीं बल्कि सत्ता के भुखे लोगों की निजी आकांक्षाओं के लिए’’ झुकाया गया.

तोगड़िया ने चुनाव के बाद कहा कि वे हिंदुओं की आवाज बने रहेंगे. उन्होंने अयोध्या में एक राममंदिर निर्माण, गोहत्या पर रोक के लिए कानून बनाने और अनुच्छेद 370 और 35 (ए) समाप्त करने के लिए साथ मिलकर काम करने की जरूरत पर बल दिया. अनुच्छेद 370 जम्मू कश्मीर को स्वायत्त दर्जा देता है जबकि अनुच्छेद 35ए उसके विधानमंडल को राज्य के ‘‘स्थायी निवासियों’’, उनके विशेष अधिकारों और विशेषाधिकारों को परिभाषित करने का अधिकार देता है. 

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वीएस कोकजे बने नए अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष
हिमाचल प्रदेश के पूर्व राज्यपाल वी एस कोकजे आज विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के नए अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष चुन लिए गए. 52 वर्षों में पहली बार हुए इस चुनाव में कोकजे ने राघव रेड्डी को हराया जिनका समर्थन प्रवीण तोगड़िया कर रहे थे.तोगड़िया तीन दशक से अधिक समय से विहिप में रहे हैं और दिसम्बर 2011 से इसके अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष के तौर पर काम कर रहे थे. तोगड़िया विहिप के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए रेड्डी का समर्थन कर रहे थे और चुनाव में रेड्डी के हारने के बाद उन्होंने संगठन छोड़ने की घोषणा कर दी.

विहिप की ओर से जारी एक बयान के अनुसार कोकजे ने नयी केंद्रीय कार्यकारी टीम के लिए नाम प्रस्तावित किए जिसको न्यासी बोर्ड ने मंजूरी दी. आलोक कुमार को विहिप का कार्यकारी अध्यक्ष और अशोक राव चौगुले को कार्यकारी अध्यक्ष (एक्सटर्नल) बनाया गया है. मिलिंद परांदे नये महासचिव और विनायक राव देशपांडे संगठन महासचिव बने हैं. चम्पत राय उपाध्यक्ष और वी कोटेश्वर राव संयुक्त महासचिव होंगे.

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