भारत और रूस ने आतंकी नेटवर्क को खत्म करने पर मिलकर काम करने पर जताई सहमति
Advertisement

भारत और रूस ने आतंकी नेटवर्क को खत्म करने पर मिलकर काम करने पर जताई सहमति

संयुक्त बयान में कहा गया है कि दोनों पक्षों ने आतंकवाद के सभी स्वरूपों को खारिज किया.

पीएम मोदी ने पुतिन के साथ संयुक्त संवाददाता संबोधन में कहा, ‘दोनों देशों के आतंकवाद से मुकाबला करने में सहयोग में साझा हित हैं . ’  (फोटो साभर - रॉयटर्स)

नई दिल्ली: भारत और रूस ने शुक्रवार को सीमापार आतंकवाद और आतंकवादियों को पनाहगाह उपलब्ध कराने की निंदा की, साथ ही बिना ‘दोहरे मानदंड’ के अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद की बुराई के खिलाफ ‘निर्णायक’ प्रतिक्रिया का आह्वान किया . भारत लगातार पाकिस्तान पर सीमापार से आतंकवाद फैलाने और अपनी जमीन से पड़ोसी देशों को निशाना बनाने वाले समूहों को समर्थन देने का आरोप लगाता रहा है . 

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच 19वें भारत रूस वार्षिक शिखर सम्मेलन के बाद जारी संयुक्त बयान में कहा गया है कि दोनों देशों ने आतंकवादी नेटवर्क को समाप्त करने के साथ उनके वित्त पोषण के स्रोत, हथियारों एवं लड़ाकों की आपूर्ति लाइन, आतंकी विचारधारा एवं दुष्प्रचार तंत्र को समाप्त करने की दिशा में मिलकर काम करने पर सहमति व्यक्त की . 

संयुक्त बयान में सीमापार आतंकवाद को खारिज करते हुए कड़ा बयान ऐसे समय में महत्वपूर्ण माना जा रहा है जब भारत के घनिष्ट मित्र रूस के संबंध पिछले कुछ दिनों में पाकिस्तान के साथ बेहतर होने की खबरें आ रही थी . 

‘भारत..रूस : बदलते विश्व में टिकाऊ गठजोड़’ शीर्षक से जारी संयुक्त बयान में कहा गया है कि दोनों पक्षों ने आतंकवाद के सभी स्वरूपों को खारिज किया और बिना किसी दोहरे मानदंड के अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद से मुकाबला करने में निर्णायक एवं सामूहिक प्रतिक्रिया की जरूरत पर जोर दिया.’

पीएम मोदी ने पुतिन के साथ संयुक्त संवाददाता संबोधन में कहा, ‘दोनों देशों के आतंकवाद से मुकाबला करने में सहयोग में साझा हित हैं . ’ रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहा कि आतंकवाद एवं मादक पदार्थों की तस्करी के खतरे से निपटने के लिए भारत के साथ सहयोग बढ़ाने पर सहमति हुई है.

दोनों पक्षों ने सीमापार आतंकवाद और आतंकवादियों को पनाहगाह उपलब्ध कराने की निंदा की. संयुक्त राष्ट्र में लंबित आतंकवाद पर अंतरराष्ट्रीय संधि के महत्व को रेखांकित करते हए दोनों पक्षों ने इसे जल्द पूरा करने के लिये गंभीर प्रयार करने पर जोर दिया . दोनों पक्षों ने रासायनिक एवं जैविक आतंकवाद के खतरों से निपटने के लिये बहुस्तरीय वार्ता की जरूरत बताई .

(इनपुट - भाषा)

ये भी देखे

Trending news