वैसे तो सावन का पूरा महीना भगवान शिव को अर्पित होता है, पर सावन के पहले सोमवार को भगवान शिव की पूजा करने से विशेष फल मिलता है.
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नई दिल्ली : सावन के महीने में पड़ने वाले हर सोमवार का विशेष महत्व होता है. इस साल सावन का पहला 30 जुलाई को पड़ रहा है. वैसे तो सावन का पूरा महीना ही भगवान शिव का अर्पित होता है, लेकिन सोमावर के दिन का एक खास महत्व है. सावन के पूरे महीने ही शिवायल में पंचामृत से भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा होती है. धार्मिक मान्यता के अनुसार भगवान शिव को फूल, बेलपत्र, धतूरा बेहद प्रिय हैं. कहा जाता है कि भगवान शिव को सावन महीने में सोमवार को दूध या जल अर्पित किया जाए तो उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं.
सावन के पहले सोमवार का है खास महत्व
वैसे तो सावन का पूरा महीना भगवान शिव को अर्पित होता है, पर सावन के पहले सोमवार को भगवान शिव की पूजा करने से विशेष फल मिलता है. आदिकाल से ही इस दिन का विशेष महत्व रहा है. कहा जाता है सावन के सोमवार का व्रत करने से मनचाहा जीवनसाथी मिलता है और दूध की धार के साथ भगवान शिव से जो मांगों वह पूरा होता है.
इस बार पूरे 30 दिन का है सावन का महीना
इस बार श्रावण मास 30 दिन का है और पहला सोमवार 30 जुलाई को पड़ रहा है. ज्योतिर्विदों के अनुसार, इस बार आने वाले सभी चार सोमवार खास होंगे. इन पर विशेष संयोग बनेंगे और शिवालयों में आस्था का उल्लास उमड़ेगा.
क्यों खास होता है सावन का पहला सोमवार
सोमवार चंद्रमा का दिन होता है. चंद्रमा का निवास शिव के सिर पर होता है. इससे चंद्रमा की पूजा भी शिव भक्तों को स्वत: प्राप्त हो जाती है. इस बार तो चारों सोमवारी को विशेष योग बन रहा है. श्रवण नक्षत्र तथा सोमवार से भगवान शिव शंकर का गहरा संबंध है. हिंदू पंचाग के अनुसार सभी मासों को किसी न किसी देवता के साथ संबंधित देखा जा सकता है, उसी प्रकार श्रवण मास को भगवान शिव जी के साथ देखा जाता है इस समय शिव आराधना का विशेष महत्व होता है. यह माह मनोकामना, आकांक्षाओं और मनवांछित फल की पूर्ति का समय होता है.