जोगी-रमन के कथित टेप से मचा सियासी बवाल, क्या फिक्स था 2014 का विधानसभा उपचुनाव?
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जोगी-रमन के कथित टेप से मचा सियासी बवाल, क्या फिक्स था 2014 का विधानसभा उपचुनाव?

छत्तीसगढ़ में पिछले साल यानी 2014 के विधानसभा के एक उपचुनाव में राज्य के मुख्यमंत्री डॉक्टर रमन सिंह के परिजनों और पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी के बीच 'लेनदेन' के कुछ कथित टेप सार्वजनिक होने के बाद सियासी बवाल मच गया है। हालांकि इस टेप को कांग्रेस नेता अजीत जोगी ने 'मनगढ़ंत' और 'झूठा' बताया है। उन्होंने इसे सार्वजनिक करने वालों के खिलाफ कोर्ट में जाने की बात कही है। उन्होंने कहा है कि टेप में जारी की गई आवाज उनकी नहीं है।

फाइल फोटो

रायपुर: छत्तीसगढ़ में पिछले साल यानी 2014 के विधानसभा के एक उपचुनाव में राज्य के मुख्यमंत्री डॉक्टर रमन सिंह के परिजनों और पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी के बीच 'लेनदेन' के कुछ कथित टेप सार्वजनिक होने के बाद सियासी बवाल मच गया है। हालांकि इस टेप को कांग्रेस नेता अजीत जोगी ने 'मनगढ़ंत' और 'झूठा' बताया है। उन्होंने इसे सार्वजनिक करने वालों के खिलाफ कोर्ट में जाने की बात कही है। उन्होंने कहा है कि टेप में जारी की गई आवाज उनकी नहीं है।

 

एक अंग्रेजी अखबार ने इस सौदेबाजी से जुडे़ ऑडियो टेप जारी किए हैं। अंग्रेजी अखबार में छपी खबर के मुताबिक बीजेपी ने 2014 में वह चुनाव जीत लिया था क्योंकि कांग्रेस उम्मीदवार ने अंतिम वक्त में अपना नाम वापस ले लिया था। इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक 13 सितंबर 2014 को हुए उपचुनाव में अचानक कांग्रेस के कैंडिडेट मंतुराम पवार ने अपना नाम वापस ले लिया था।

अखबार ने जो टेप जारी किया है उसमें पूर्व मुख्यमंत्री अजित जोगी, उनके बेटे अमित जोगी और सीएम रमन सिंह के दामाद पुनीत गुप्ता, कांग्रेस के तत्कालीन उम्मीदवार मंतूराम पवार और जोगी के पूर्व विश्वसनीय फिरोज सिद्दीकी के बीच बातचीत के टेलीफोन कॉल्स के रिकॉर्ड हैं।

 

इस मामले के सामने आने के बाद कांग्रेस ने अजीत को नोटिस जारी कर दिया है, साथ ही इसमें रमन सिंह के दामाद का नाम सामने आने पर छत्तीसगढ़ के सीएम से इस्तीफे की मांग की है। दूसरी तरफ बीजेपी ने भी अखबार के दावे पर सवाल उठाते हुए कहा है कि सीएम रमन सिंह के दामाद को अनावश्यक तरीके से इस पूरे विवाद में घसीटा जा रहा है।

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