फसलों पर सर्दी की मार, इन फसलों को हुआ भारी नुकसान, किसानों ने की मुआवजे की मांग
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फसलों पर सर्दी की मार, इन फसलों को हुआ भारी नुकसान, किसानों ने की मुआवजे की मांग

बढ़ती ठंड व शीत लहर जहां आम जन व फुटपाथ पर जीवन यापन करने वालों के लिए मुसबीत बनी हुई है.

फसलों पर सर्दी की मार, इन फसलों को हुआ भारी नुकसान, किसानों ने की मुआवजे की मांग

राहुल सिंह राठौड़/उज्जैन: बढ़ती ठंड व शीत लहर जहां आम जन व फुटपाथ पर जीवन यापन करने वालों के लिए मुसबीत बनी हुई है. तो वहीं किसानों के लिए ये सबसे बड़ी मार साबित हो रही है. किसानों द्वारा लगाई गई लहसुन, प्याज, चना, मटर जैसी फसलें अल सुबह गिरने वाली ओस व ठंडी हवाओं के कारण जल कर बर्बाद हो रही है. जिसकी चिंता किसानो को सताने लगी तो किसान अब सोशल मीडिया पर वीडियो साझा कर सरकार से मुआवजे की मांग करने लगे हैं. 

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सरकार से मुआवजे की मांग
घट्टिया तहसील के किसान आप बीती बताते हुए वीडियो में कह रहे है कि ये देखिए साहब लहसुन, प्याज, मटर, चना कैसे बर्बाद होने की कगार पर है. शीत लहर के कारण सब जल गए है. धनिया व बीज भी नहीं बचे. मैं किसी तरह सरकार से निवेदन करता हूं कि हमारी मदद करे. वहीं माकड़ोन तहसील के किसान स्वामी ने कहा कि मैं अनुरोध करता हूं सरकार से पिछले 2 से 3 दिन से जो ठंडी लहर चल रही है. उससे सब फसले बर्बाद हो गई है. मक्का, मैथी, धनिया, बटले सब ठंड के कारण जल गए. सरकार मुआवजा देती है तो बहुत राहत मिलेगी. 

ऑरेंज अलर्ट जारी किया
वहीं मौसम को लेकर जीवाजी वैध शाला के अधीक्षक राजेन्द्र प्रकाश गुप्त ने बताया कि देर रात का तापमान 5 डिग्री था जो साल में दूसरी बार है. इससे पहले जनवरी के अंत मे ऐसी ठंड गिरी थी, संभावना है कि आज रात 4.5 पर पारा पहुँच सकता है. उन्होंने कहा कि ठंडी हवाओं के कारण उत्तर भारत की और से 6 से 8 घंटे प्रति किलोमीटर की रफ्तार से आ रही है, जिससे मौसम प्रभावित है. हमारे यहां न्यूनतम तापमान 5 डिग्री व अधिकतम 20 डिग्री तापमान हो गया है. रात का पारा और नीचे गिरने की संभावना है. जिसे देखते हुए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. 

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यह तो बस शुरुआत है
ग्राम मंगरोला के किसान जितेंद सिंह ठाकुर ने बताया कि प्याज लहसुन आलू, मटर, चने की फसलों को लेकर कहा कि अगर ऐसी ही ठंड गिरती रही तो और नुकसान होना है, अभी तो बस शुरुवात हुई है. कुछ फसले ऐसी होती है जो पहले से पता चल जाती है कि प्याज, लहसुन आदि की क्या स्थिति है. वहीं ग्राम मंगरोला के ही किसान भरत सिंह बैस ने जानकारी देते हुए कहा कि मौसम में लगातार गिरावट मुसबीत बनी हुई है. फसले बर्बाद होती जा रही है पाला गिरने से सब फसले जलती जा रही है.

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