MP News: मध्य प्रदेश में लाडली बहना योजना के साथ-साथ लाडली लक्ष्मी योजना भी चर्चाओं में बनी रहती है. लाडली लक्ष्मी योजना के सहयोग से मध्य प्रदेश की बेटियों को उनकी जरूरतों को पूरा करने के लिए प्रदेश सरकार की तरफ से आर्थिक सहायता दी जाती है.
प्रदेश की महिलाओं को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने के लिए सरकार ने लाडली बहना योजना को शुरू किया था जो आज कई मायने में सफल होते भी दिखाई देती है. इस योजना की तरह प्रदेश में एक और योजना कार्यरत है जो प्रदेश की बेटियों और बच्चियों को ध्यान में रखते हुए लागू किया गया है.
इस योजना का नाम लाडली लक्ष्मी योजना है जो एक बच्ची के जन्म से लेकर शिक्षा, स्वास्थ्य के बारे में सकारात्मकता और जागरूकता फैलाती नजर आती है. आपको बता दे कि एमपी सरकार ने साल 2007 में लाडली लक्ष्मी योजना की शुरुआत की थी.
लाडली लक्ष्मी योजना के मुख्य उद्देश्य की बात करें तो इससे प्रदेश की बेटियों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाना और राज्य में लिंगानुपात( sex ratio)में सुधार लाना है. योजना के तहत, एमपी सरकार प्रदेश की बेटियों के जन्म से लेकर शिक्षा और शादी तक आर्थिक सहायता प्रदान करती है.
योजना का लाभ लेने के लिए सबसे पहले अभिभावक को बच्ची के जन्म के समय इस योजना के लिए रजिस्ट्रेशन कराना होता है फिर सरकार की ओर से पात्र बेटियों को अलग-अलग किस्तों में कुल 1 लाख 43 हजार रुपये दिए जाते हैं. ये राशि उन्हे उनकी जरूरतों को पूरा करने में मदद करती है. उदाहरण के तौर पर देखा जाए तो जब बेटी कक्षा 6 में होती है तो उसे 2 हजार रूपये दिए जाते है फिर 9वीं कक्षा में 4 हजार और 12वीं तक जाते-जाते यही राशी बढ़कर 6 हजार हो जाती है.
12वीं कक्षा के बाद अगर बेटी ग्रेजुएशन के लिए जाती है तो उसे 25 हजार रुपये दो किस्तों में दिए जाते हैं. खास बात ये है कि इससे बेटियों को लखपति बनने का मौका मिलता है साथ ही राज्य में बेटियों की साक्षरता दर में भी सुधार आता है. यदि बेटी 21 साल की हो जाती है और उसकी शादी नहीं हुई होती है, तो उसे सरकार की ओर से लमसम एक लाख रुपये दिए जाते हैं.
इस योजना का लाभ लेने के लिए कुछ नियमों पर ध्यान देना होगा जैसे - बेटी के माता-पिता मध्य प्रदेश के मूल निवासी होने चाहिए. माता-पिता की दो या उससे कम संतान होनी चाहिए. माता-पिता आयकर दाता नहीं होने चाहिए.
सरकार की ये योजना इसलिए भी खास है क्योंकि इसके तहत अनाथ, जेल में बंद महिला कैदियों से जन्मी बेटियों के साथ-साथ दुष्कर्म पीड़िता से जन्मी बेटियों को भी इस योजना का लाभ लेने का हक प्राप्त है.
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