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MP में इस मंदिर में दर्शन करने से कुंवारों की जल्दी होती है शादी, रंगपंचमी पर लगती है भीड़

MP News: अशोकनगर जिले में स्थित करीला धाम का  'मां जानकी मंदिर' देश के उन मंदिरों में से एक है जहां बगैर राम जी के मां सीता की पूजा की जाती है. इस मंदिर का रामायण काल से भी गहरा संबंध बताया जाता है जहां, आज रंग पंचमी के अवसर पर सीएम यादव भी मौजूद दिखाई दिए हैं.

 

करीला धाम

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करीला धाम

अशोकनगर जिले में स्थित करीला धाम, में रंग पंचमी के अवसर पर लगने वाला मेला इस बार कुछ खास होने वाला है. लाखों की संख्या में जहां भक्तगण मंदिर के दर्शन करने पहुंच रहे वहीं सीएम मोहन यादव भी आज मां जानकी के दरबार में दर्शन करने और उनका आशीर्वाद लेने पहुंचे हैं.

माता जानकी मंदिर

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माता जानकी मंदिर

करीला धाम स्थित माता जानकी का ये मंदिर काफी अनोखा है. बताया जाता है कि ये मंदिर उन गिने-चुने मंदिरों में शामिल है जहां भगवान राम के बिना ही सीता माता की पूजा की जाती है. यहां सीता के अलावा लव-कुश और महर्षि वाल्मीकि की मूर्तियां हैं, लेकिन भगवान राम की मूर्ति नहीं है.

रामायण काल से गहरा संबंध

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रामायण काल से गहरा संबंध

दावा किया जाता है कि धाम में स्थित इस मंदिर का रामायण काल से गहरा संबंध रहा है. कहा जाता है कि जब भगवान राम ने अयोध्या लौटने के बाद मां सीता को त्याग दिया था तो मां सीता यहीं महर्षि वाल्मीकि के आश्रम में रुकी थीं. उन्होंने यहीं लव-कुश को जन्म भी दिया था जिसकी वजह से इस स्थान को  लव-कुश के जन्म स्थान के रूप में भी पहचाना जाता है. 

मां के आशीर्वाद से जल्दी होती है शादी

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मां के आशीर्वाद से जल्दी होती है शादी

मंदिर के इन चर्चित कथाओं की वजह से देश के हर कोने से श्रद्धालु अपनी मन्नत लेकर यहां पहुंचते हैं. अधिकतर लोग शादी और नि: संतानता से जुड़ी हुई मन्नत लेकर यहां पहुंचते हैं. लोगों ने दावा भा किया है कि मां के दरबार में आने से उनकी मनोकामनाएं पूरी भी हुई हैं.

करीला धाम मेला

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करीला धाम मेला

धाम में लगने वाले मेले की बात करें तो यहां रंग पंचमी पर 3 दिन यानी 18 से 20 मार्च तक मेला लगाया गया है जहां दर्शनार्थी मां का आशीर्वाद ले कर मेले का आनंद लेते नजर आते हैं.

राई नृत्य

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राई नृत्य

खुले आसमान के नीचे पहाड़ी पर लगे इस मेले की खासियत यहां होने वाला राई नृत्य है जिसे बुंदेलखंड का प्रसिद्ध नृत्य कहा जाता है. देश के कोने-कोने से आए भक्त अपनी सारी परेशानी भूल इस नृत्य में शामिल होते दिखाई देते हैं.

सुरक्षा व्यवस्था

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सुरक्षा व्यवस्था

मेले को लेकर प्रशासन की सुरक्षा व्यवस्था भी काफी पुख्ता रहती है. लाखों के श्रद्धालुओं की सुरक्षा की  जिम्मेदारी लिए  यहां कई पुलिसकर्मी तैनात रहते हैं. 100 से भी अधिक सीसीटीवी कैमरे लगाए जाते हैं कंट्रोल रूम से इसकी लगातार मॉनिटरिंग की जाती है.

 

Disclaimer: यहां बताई गई सभी बातें मीडिया रिपोर्ट्स और धार्मिक मान्यताओं पर आधारित हैं.  इसकी विषय सामग्री और काल्पनिक चित्रण का ZEEMPCG हूबहू समान होने का दावा या पुष्टि नहीं करता.

 

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