छत्तीसगढ़: प्राइवेट स्कूलों की कर्जदार बनी सरकार, दो साल में चढ़ा 19 करोड़ का बोझ
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छत्तीसगढ़: प्राइवेट स्कूलों की कर्जदार बनी सरकार, दो साल में चढ़ा 19 करोड़ का बोझ

प्रदेश सरकार जांजगीर-चांपा जिले के 411 प्राइवेट स्कूलों की कर्जदार बन गई है.सरकार पर प्राइवेट स्कूलों का 19 करोड़ रुपये से ज्यादा का बकाया है.

फाइल फोटो

प्रकाश शर्मा/जांजगीर-चांपा:  छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार प्राइवेट स्कूलों के कर्ज के बोझ के तले दबी है. प्रदेश सरकार जांजगीर-चांपा जिले के 411 प्राइवेट स्कूलों की कर्जदार बन गई है. सरकार पर प्राइवेट स्कूलों का 19 करोड़ रुपये से ज्यादा का बकाया है.

प्राइवेट स्कूलों की कर्जदार बनी सरकार
दरअसल, शिक्षा के अधिकार के तहत निजी स्कूलों में बच्चों को निशुल्क पढ़ाने के लिए 25 प्रतिशत सीटें आरक्षित की जाती हैं. इस अधिकार के तहत प्राइवेट स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों का खर्च प्रदेश और केंद्र सरकार दोनों मिलकर उठाते है. इसी अभियान के तहत जांजगीर-चांपा जिले में 411 प्राइवेट स्कूलों ने गरीब बच्चों को प्रवेश दिया और साल भर निशुल्क पढ़ाया, लेकिन अब सरकार के द्वारा स्कूल संचालकों को पैसा नहीं दिया जा रहा है.

2 साल से जारी नहीं किया गया फंड
हाल ऐसा है कि 2 सत्र का पैसा भी अब तक पूरा नहीं आ पाया है. जानकारी के मुताबिक, सत्र 2017-18 के 60 लाख रुपये बकाया हैं, जबकि 2018-19 और 2019-20 की राशि का तो अब तक कुछ पता नहीं है.

1 मार्च से शुरू होंगे एडमिशन
आपको बता दें कि शैक्षणिक जिला जांजगीर में 411 प्राइवेट स्कूलों में 17 हजार 177  विद्यार्थियों को प्रवेश दिया गया था. वहीं 1 मार्च से एकबार फिर शिक्षा के अधिकार के तहत गरीब छात्रों के एडमिशन की प्रक्रिया शुरू हो रही है, ऐेसे मे प्राइवेट स्कूल संचालकों मे फंड को लेकर संशय कायम है.

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