नई दिल्ली: भारत में ये समस्या नई नहीं है. इस समस्या की वजह से भारत में हर साल लगभग 10 लाख लोगों की मौत हो रही है. इस समस्या का नाम है प्रदूषण. हाल ही में अंतरराष्ट्रीय संस्था ग्रीनपीस (Greenpeace) ने अपने नए रिपोर्ट में चौंकाने वाले खुलासे किए हैं. रिपोर्ट के अनुसार भारत में सिर्फ प्रदूषण की वजह से हर साल 10 लाख करोड़ रुपये का आर्थिक नुकसान हो रहा है.
मासूम बच्चों पर प्रदूषण की सबसे ज्यादा मार
ग्रीनपीस के सीनियर कैम्पेनर अविनाश चंचल ने बताया कि भारत की जहरीली होती हवा सबसे ज्यादा मासूम नन्हे बच्चों के लिए सबसे ज्यादा घातक साबित हो रही है. सिर्फ भारत में दूषित हवा के कारण लगभग 9.80 लाख नवजात समय से पहले पैदा हो रहे हैं. इन बच्चों के जीवित रहने की संभावना बेहद कम होती है. इसी तरह पूरे भारत में हर साल 3.50 लाख बच्चों को अस्थमा की बीमारी हो रही है. अविनाश ने आगे बताया कि भारत में कुल 12.85 लाख बच्चों को अस्थमा है. इस बीमारी का एकमात्र कारण प्रदूषण ही है.

भारत को सालाना हो रहा 10 लाख करोड़ रुपये का नुकसान
ग्रीनपीस की इस ताजा रिपोर्ट के अनुसार भारत को प्रदूषण की वजह से हर साल लगभग 10 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हो रहा है. इस हिसाब से भारत को कुल आय में से लगभग 5.4 प्रतिशत जीडीपी का घाटा हो रहा है. देश में ईंधन की वजह से फैल रहे जहरीले हवा के कारण पर्यावरण और स्वास्थ्य दोनों का नुकसान हो रहा है.
बताते चलें कि देश के पावर प्लांटों में नियमों की अनदेखी की वजह से प्रदूषण ज्यादा हो रहा है. साथ ही देश में लगातार बढ़ रहे वाहनों की संख्या भी हवा को जहरीला बनाने में सहायक है. ऐसे में गाड़ियों का कम इस्तेमाल प्रदूषण को कम करने में मददगार साबित हो सकता है. देश में समय से पहले हो रहे मौतों का एक बड़ी वजह प्रदूषण ही है.
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