मदर डेयरी बूथों पर अब दूध के साथ मिलेंगी ये चीजें, 5 साल में 25 हजार करोड़ रुपये के कारोबार का लक्ष्य
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मदर डेयरी बूथों पर अब दूध के साथ मिलेंगी ये चीजें, 5 साल में 25 हजार करोड़ रुपये के कारोबार का लक्ष्य

दिल्ली-एनसीआर में दूध की आपूर्ति में भरोसेमंद ब्रैंड की पहचान बना लेने वाली मदर डेयरी अब अपने बिजनेस में विविधता लाने में जुटी है.

मदर डेयरी बूथों पर अब दूध के साथ मिलेंगी ये चीजें, 5 साल में 25 हजार करोड़ रुपये के कारोबार का लक्ष्य

नई दिल्ली: देश की प्रमुख दूध आपूर्तिकर्ता कंपनी मदर डेयरी (mother dairy) अब ब्रेड भी बेचेगी. कंपनी ने कारोबार बढ़ाने की रणनीति के तहत अब ब्रेड (bread) की बिक्री के क्षेत्र में कदम उठाया है. इसके तहत 15-40 रुपये में तीन तरह की डबलरोटी के पैकेट बाजार में उतारे गए हैं. कंपनी ने अगले पांच साल में अपने राजस्व को दोगुने से भी ज्यादा बढ़ाकर 25,000 करोड़ रुपये करने का लक्ष्य तय किया है. 

भारत में 5300 करोड़ रूपये का ब्रेड का कारोबार
बता दें कि मदर डेयरी दिल्ली- एनसीआर में दूध, आइसक्रीम और दूध के अन्य उत्पादों की आपूर्ति करने वाली प्रमुख कंपनी है. मदर डेयरी के प्रबंध निदेशक संग्राम चौधरी ने एक वीडियो कॉन्फ्रेंस में कहा कि हम अपने ब्रेड की पेशकश के साथ कन्फेक्शनरी और बेकरी सेगमेंट में विविधता ला रहे हैं. भारत में ब्रेड का कारोबार करीब 5,300 करोड़ रुपये का है. पिछले पांच वर्षों से यह औसतन 10 प्रतिशत की दर से बढ़ रहा है. सबसे ज्यादा खपत सफेद डबलरोटी की है. 

तीन तरह के ब्रेड बाजार में उतारे गए
उन्होंने कहा कि इसे देखते हुए कंपनी ने भी 15-40 रुपये प्रति पैकेट की दर पर सैंडविच, ब्राउन और फ्रूट एंड मिल्क नाम की ब्रेड बाजार में उतारी हैं. ये ब्रेड अन्य कंपनी के जरिए बनवाई जा रही हैं. फिलहाल एनसीआर में मदर डेयरी के 1,800 दूध और ‘सफल’ बिक्री केन्द्रों पर ये ब्रेड उपलब्ध होंगी. कंपनी ने अगले तीन सालों के दौरान ब्रेड की बिक्री से 100 करोड़ रुपये की आय हासिल करने का लक्ष्य बनाया है. 

वर्ष 2025 तक 25 हजार करोड़ रूपये के कारोबार का लक्ष्य
संग्राम चौधरी ने कहा कि कंपनी ने बाजार में लगभग 20 नए उत्पादों को पेश किया है. इनमें पाँच प्रकार की मिठाइयां भी शामिल हैं. उन्होंने कहा कि मदर डेयरी का वर्तमान वार्षिक राजस्व लगभग 10,000-11,000 करोड़ रुपये का है. कंपनी ने वर्ष 2025 तक 25,000 करोड़ रुपये कारोबार का लक्ष्य बनाया है. हालांकि इस साल कोविड ​​-19 की वजह से इसमें कुछ कमी भी आ सकती है. 

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