जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती और उमर अब्दुल्ला पर पब्लिक सेफ्टी एक्ट लगा दिया है.
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श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती और उमर अब्दुल्ला पर पब्लिक सेफ्टी एक्ट लगा दिया है. पब्लिक सेफ्टी एक्ट में बिना ट्रायल के तीन माह तक जेल में रख सकते हैं. यानी दोनों को 3 माह तक और जेल में गुजारने होंगे. 370 हटाए जाने के बाद से दोनों नजरबंद हैं. दोनों ऐहतियातन हिरासत में लिए जाने की अवधि गुरुवार को समाप्त हो रही है. उमर के पिता तथा नेशनल कॉन्फ्रेंस चीफ फारुख अब्दुल्ला पहले से ही पीएसए के तहत बंद हैं.
इसके अलावा, दो अन्य नेताओं पर भी पीएसए लगाया गया है. इसमें नेशनल कॉन्फ्रेंस के वरिष्ठ नेता अली मोहम्मद सागर, एनसी के ही सरताज मदनी भी शामिल हैं. पूर्व विधायक बशीर अहमद वीरी पर भी पीएसए लगने की खबरें आ रही थीं, लेकिन बाद में उन्हें रिहा किए जाने की सूचना है.
पीएसए लगाए जाने के बाद महबूबा मुफ्ती ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से इस संबंध में ट्वीट भी किया. ट्वीट में मुफ्ती ने लिखा, "इस तानाशाही सरकार से राज्य के दो पूर्व मुख्यमंत्रियों पर पीएसए जैसा कठोर कानून लगाने की अपेक्षा कर ही सकते हैं, जिसने 9 साल के बच्चे पर भी देशद्रोही टिप्पणी के लिए मुकदमा दायर किया हो. सवाल यह है कि हम कब तक दर्शक बने रहेंगे जब देश के मूल्यों को अपमान किया जा रहा है."