अग्निपथ योजना का बिना सोचें समझे हो रहा विरोध, योजना युवाओं एवं देश के लिए लाभकारी- सेवानिवृत्त कप्तान बलराम शर्मा
जयपुर के चाकसू में भारतीय सेना से सेवानिवृत्त कप्तान बलराम शर्मा का कहना है कि अग्निपथ योजना का बिना सोचे समझे विरोध हो रहा हैं.
Jaipur: जयपुर के चाकसू में भारतीय सेना से सेवानिवृत्त कप्तान बलराम शर्मा का कहना है कि अग्निपथ योजना का बिना सोचे समझे विरोध हो रहा हैं. बलराम शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि अभी जितनी संख्या में सेना में भर्ती होती है, उससे कई गुना अधिक संख्या में भर्तियां होंगी, युवाओं को सेना में जाने का अवसर मिलेगा. अग्निपथ योजना में विशेष बातें ध्यान देने योग्य यह है की इसके लिए आयु 17 वर्ष छह माह से 21 वर्ष है, योग्यता सीनियर सेकेंडरी है, फिजिकल टेस्ट पहले की तरह ही होगा, सेवा अवधि चार वर्ष है, प्रशिक्षण अवधि 6 माह है, प्रथम वेतन 30 हजार है जिसमें से 9 हजार रूपए प्रति माह कटौती के बाद 21 हजार मिलेंगे, द्वितीय वर्ष में 33 हजार वेतन होगा जिसमें से 10 हजार कटौती के बाद 23 हजार वेतन मिलेगा, तृतीय वर्ष 36 हजार रुपए प्रतिमाह वेतन जिससे 11 हजार की कटौती के बाद 25 हजार मिलेंगे, चौथे वर्ष वेतन बढ़कर 40 हजार होगा, जिसमें से कटौती 12 हजार के बाद 28 हजार रुपए मिलेंगे. सेवा अवधि के चार साल पूरे होने के बाद अग्निवीरों को सेवा तिथि से पैकेज के रूप में बतौर 11 लाख 71 हजार रुपए प्राप्त होने के चार साल बाद योग्यता मापदंडों के अनुसार 25 प्रतिशत जवानों को स्थाई रूप से सेना में नियुक्ति दी जाएगी, शेष 75 प्रतिशत जवानों को ''अग्निवीर'' प्रमाणपत्र दिया जाएगा. प्रमाणपत्र के आधार पर प्राइवेट कम्पनियों में प्राथमिकता के आधार पर जॉब मिलना सुनिश्चित होगा. अग्निवीर अपना अलग से कोई व्यवसाय करना चाहेगा तो मिनिमम ब्याज दरों पर नॉन सिक्योर ऋण देने की व्यवस्था की गई है, यह भी घोषित किया गया है कि तीनों सेनाओं में प्रतिवर्ष 50,000 जवानों की भर्ती की जाएगी.
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उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का आगामी डेढ़ साल में केंद्र सरकार के विभिन्न मंत्रालयों एवं विभागों में 10 लाख नौकरी देने का लक्ष्य निर्धारित करना यही बताता है कि, मोदी सरकार बेरोजगारी को गंभीरता से ले रही हैं. इसलिए अवसरवादियों के बहकावे में नवयुवकों को न आकर इस योजना का सर्वाधिक लाभ लेना चाहिए. कुछ सेफ्टी विभागों को छोड़ कर तो 22, 23 की आयु के पश्चात तो जॉब के लिए आवेदन करना आरंभ किया जाता हैं, अनेक युवा 18, 19, 20 की आयु में गलत रास्ता पकड़ कर भटक जाते हैं, स्वयं का भविष्य खराब करने के साथ साथ परिवार का भविष्य खतरे में डाल देते हैं, जब कि अग्निपथ योजना में 17 वर्ष की बाद ही अपना भविष्य निर्धारण करने एवं देश के लिए समर्पण का अवसर मिल जाता है एवं युवा फिजिकली हमेशा फिट रहेगा.
प्रसिद्ध गणेशपुरी धाम चाकसू के महंत राजेन्द्र पुरी महाराज ने भी अग्निपथ योजना पर जानकारी देते हुए हुए बताया कि देश के स्वर्णिम भविष्य के निर्माण में एवं युवाओं को राष्ट्रभक्ति के मार्ग पर अपना कैरियर बनाने का सुनहरा अवसर मिलेगा. युवा अपना भला - बुरा स्वयं सोचें एवं राजनीतिक हित साधने वालों के बहकावे में न आकर सुनहरे अवसर का लाभ उठावें.
Reporter- Amit Yadav
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