बेहतर जल प्रबंधन कर इंदिरा गांधी नहर से जुड़े जिलों में जलापूर्ति सुनिश्चित करें: अशोक गहलोत
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बेहतर जल प्रबंधन कर इंदिरा गांधी नहर से जुड़े जिलों में जलापूर्ति सुनिश्चित करें: अशोक गहलोत

सीएम ने कहा कि इंदिरा गांधी नहर परियोजना क्षेत्र में 60 दिवसीय ऐतिहासिक मिश्रित नहरबंदी के दौरान इंदिरा गांधी फीडर और मुख्य नहर में हुए 70 किलोमीटर रिलाइनिंग कार्यों से टेल क्षेत्र के किसानों को लाभ मिलेगा.

राजस्थान के मुख्यमंत्री हैं अशोक गहलोत. (फाइल फोटो)

Jaipur: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार के सतत प्रयासों से इंदिरा गांधी नहरी तंत्र की रिलाइनिंग का ऐतिहासिक काम हुआ है. इससे जल की बड़ी छीजत रुकेगी एवं सिंचाई और पेयजल के लिए अंतिम छोर तक अधिक पानी मिल सकेगा.

उन्होंने कहा कि अधिकारी बेहतर जल प्रबंधन कर इंदिरा गांधी नहर से जुड़े सभी दस जिलों में सुचारू जलापूर्ति सुनिश्चित करें. साथ ही टेल क्षेत्र के किसानों को सिंचाई के लिए पर्याप्त पानी मिले इसके लिए विभाग कार्य योजना बनाकर आगे बढ़े. गहलोत आज मुख्यमंत्री निवास से वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से इंदिरा गांधी नहर परियोजना की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे. 

उन्होंने कहा कि इंदिरा गांधी नहर परियोजना क्षेत्र में 60 दिवसीय ऐतिहासिक मिश्रित नहरबंदी के दौरान इंदिरा गांधी फीडर और मुख्य नहर में हुए 70 किलोमीटर रिलाइनिंग कार्यों से टेल क्षेत्र के किसानों को लाभ मिलेगा. रिलाइनिंग पूर्ण हो जाने से इन्दिरा गांधी नहरी तंत्र में निर्धारित क्षमता से पानी का प्रवाह होगा जिससे पश्चिमी राजस्थान के 10 जिलों में आमजन को लाभ होगा. 

सीएम ने कहा कि पंजाब सरकार ने लंबे समय से रुके हुए इस कार्य को पूरा करने में सकारात्मक सहयोग दिया है. इसके लिए उन्होंने पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह का आभार व्यक्त किया. साथ ही, राज्य के जल संसाधन विभाग की टीम को बधाई दी.

मुख्यमंत्री ने कहा सीपेज से हो रही जल हानि रुकेगी और सेम की समस्या से निजात मिलेगी. साथ ही, नहरी तंत्र पर निर्भर 10 जिलों के लोगों को पेयजल उपलब्धता एवं 16.17 लाख हेक्टेयर कमांड क्षेत्र सिंचाई जल की उपलब्धता सुनिश्चित हो सकेंगी. उन्होंने कहा कि प्रदेश में जल की सीमित उपलब्धता को ध्यान में रखते हुए नहरी क्षेत्रों के लिए माइनर इरीगेशन प्रोजेक्ट बनाया जाए. किसानों को फव्वारा एवं बूंद-बूंद सिंचाई पद्धति अपनाने के लिए प्रोत्साहित किया जाए.

गहलोत ने कहा कि रिलाइनिंग के कार्य होने से पाकिस्तान बहकर जाने वाले जल पर कुछ हद तक रोक लग सकेगी. उन्होंने निर्देश दिए कि भविष्य में इस पानी को पूरी तरह रोकने के लिए कार्य योजना बनाई जाए. साथ ही गुजरात व्यर्थ बहकर जाने वाले पानी को जवाई बांध में लाने लिए सेई टनल के कार्य को समय पर पूरा करने का प्रयास किया जाए.
 
अशोक गहलोत ने कहा कि प्रदेश के 13 जिलों के लिए महत्वाकांक्षी पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना (ERCP) राजस्थान के लिए बहुत महत्वपूर्ण है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने राजस्थान यात्रा के दौरान जयपुर एवं अजमेर में इस परियोजना को राष्ट्रीय दर्जा देने के लिए आश्वस्त किया था. 

उन्होंने कहा कि राजस्थान में सूखे अकाल और विषम भौगोलिक परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार को जल्द से जल्द इसे राष्ट्रीय दर्जा देना चाहिए. इस विषय पर राज्य सरकार के अधिकारी केंद्र सरकार के संबंधित विभागों के साथ लगातार समन्वय करें.

मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि राज्य के हिस्से का पूरा पानी प्राप्त करने के लिए अन्तर्राज्यीय जल समझौतों से जुड़े लंबित मुद्दों पर मुख्य सचिव एवं विभागीय उच्चाधिकारी प्रभावी पैरवी करें. इसके लिए संबंधित राज्यों एवं केंद्र सरकार के स्तर पर सतत समन्वय किया जाए.

मुख्य सचिव निरंजन आर्य ने कहा कि इंदिरा गांधी नहर इंजीनियरिंग कौशल का अनूठा नमूना है. इससे पश्चिमी राजस्थान में जल आवश्यकताओं की पूर्ति होने के साथ ही इस क्षेत्र की दशा और दिशा में सकारात्मक बदलाव आया है. इस नहर की रिलाइनिंग का कार्य होने से नहर की पूरी क्षमता का उपयोग कर लोगों को समुचित जलापूर्ति संभव हो सकेगी. 

अतिरिक्त मुख्य सचिव जलदाय सुधांश पंत ने कहा कि नहरबंदी से पहले पेयजल उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए कार्य योजना तैयार की गई एवं गुणवत्ता के साथ समयबद्ध क्रियान्विति की गई सभी पेयजल स्त्रोतों तथा नहरी तंत्र में जगह-जगह पॉण्ड बनाकर पेयजल संग्रहण किया गया सम्पूर्ण नहरबंदी के दौरान निर्बाध पेयजल आपूर्ति सुनिश्चित की गई.

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