जनता के प्रति जवाबदेही और संवेदनशीलता को नए आयाम देने वाला है यह ऐतिहासिक बजट: महेश जोशी
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जनता के प्रति जवाबदेही और संवेदनशीलता को नए आयाम देने वाला है यह ऐतिहासिक बजट: महेश जोशी

डॉ. जोशी ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि बजट में गांव, गरीब, मजदूर, किसान, युवा, महिला एवं दिव्यांगजन सहित सभी वर्गों के कल्याण की सोच तथा राज्य को समावेशी विकास की ऊंचाइयों पर ले जाने की प्रतिबद्धता स्पष्ट तौर पर निहित है.

जनता के प्रति जवाबदेही और संवेदनशीलता को नए आयाम देने वाला है यह ऐतिहासिक बजट: महेश जोशी

Jaipur: जलदाय मंत्री डॉ. महेश जोशी ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा बुधवार को राजस्थान विधानसभा में प्रस्तुत वर्ष 2022-23 के बजट को प्रदेश की जनता में नया जोश, स्फूर्ति, आशा एवं ऊर्जा का संचार करने तथा शासन की जनता के प्रति जवाबदेही और संवेदनशीलता को नए आयाम देने वाला ऐतिहासिक बजट बताया है. 

डॉ. जोशी ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि बजट में गांव, गरीब, मजदूर, किसान, युवा, महिला एवं दिव्यांगजन सहित सभी वर्गों के कल्याण की सोच तथा राज्य को समावेशी विकास की ऊंचाइयों पर ले जाने की प्रतिबद्धता स्पष्ट तौर पर निहित है.

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जलदाय मंत्री ने कहा कि भारत सरकार द्वारा जल जीवन मिशन में केन्द्र एवं राज्य की हिस्सेदारी को 90:10 करने की जायज मांग को लगातार अनदेखा किए जाने के बावजूद मुख्यमंत्री श्री गहलोत ने प्रदेश में आगामी वर्ष में 13 हजार 921 करोड़ रुपये की लागत से 24 नई पेयजल परियोजनाओं का कार्य आरम्भ करने और 36 वृहद पेयजल परियोजनाओं के लिए 10 हजार करोड़ रुपये की घोषणाओं सहित प्रदेश भर में पेयजल आपूर्ति तंत्र के विस्तार के लिए कई अहम घोषणाएं की हैं, इससे राज्य के पेयजल प्रबंधन नेटवर्क को और मजबूती मिलेगी. 

पीएम पर भी बोला हमला
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने राजस्थान की धरती पर वर्ष 2018 में ईस्टर्न कैनाल परियोजना को राष्ट्रीय परियोजना का दर्जा देने की दो बार घोषणा की थी मगर केन्द्र सरकार द्वारा गत चार वर्षों से पूर्वी राजस्थान के 13 जिलों के लोगों के लिए पेयजल की दृष्टि से महत्वपूर्ण इस परियोजना के बारे में निरंतर वादाखिलाफी की जा रही है. मुख्यमंत्री ने इस बजट में ‘पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना निगम‘ स्थापित करने तथा राज्य के संसाधनों से इस परियोजना में 9600 करोड़ रुपये की लागत से कार्य हाथ में लेने की घोषणा कर प्रधानमंत्री और केन्द्र सरकार के उपेक्षापूर्ण रवैये से इन जिलों के लोगों की टूटती हुई उम्मीदों को सहारा देने का साहसिक फैसला लिया है.

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