उन शिक्षक संगठनों में नहीं है जो कि 'चाहे जो मजबूरी हो हमारी मांगे पूरी हो' को ध्यान में रखते हुए कार्य करते हैं.
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Begun: विषय प्रवर्तन राजकीय महाविद्यालय बेगूं में पदस्थापित सहायक आचार्य डॉ. उमेशदत्त द्वारा किया गया. अपने कर्तव्य दिवस के आयोजन का उद्देश्य विस्तार से बताया. कार्यक्रम के मुख्य वक्ता डॉ. केशव शर्मा ने अपने प्रबोधन में युवाओं को भारत के आध्यात्मिक ज्ञान और संस्कृति को विश्व में पुनः प्रतिस्थापित करने वाले स्वामी विवेकानंद और भारतीय लोगों की सैन्य शक्ति को संगठित कर अंग्रेजों को भारत छोड़ने के लिए मजबूर करने वाले दिव्य पुरूष नेताजी सुभाषचंद्र बोस को अपने जीवन में आदर्श मानकर अपने कर्तव्य पथ पर आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया.
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आपने बताया कि रुक्टा राष्ट्रीय, अखिल भारतीय राष्ट्रीय शैक्षिक महासंघ से संबद्ध महाविद्यालय शिक्षकों का एक संगठन है. आपने संगठन के उद्देश्य और उसके त्रिसूत्री ध्येवाक्य, 'राष्ट्रहित में शिक्षा, शिक्षा हित में शिक्षक, शिक्षक हित में समाज' के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान की. साथ ही बताया कि यह शिक्षकों का एकमात्र संगठन है जो कि अधिकारों के साथ-साथ अपने कर्तव्य का सदैव बोध रखता है और कर्त्तव्य को सदैव ध्यान में रखकर अपना कार्य करता है.
यह उन शिक्षक संगठनों में नहीं है जो कि 'चाहे जो मजबूरी हो हमारी मांगे पूरी हो' को ध्यान में रखते हुए कार्य करते हैं. रुक्टा राष्ट्रीय, राष्ट्रीय संस्कृति और अस्मिता को पल्लवित करते हुए समाज के युवाओं को शिक्षित और शिक्षा प्रदान करने की बात करता है. साथ ही शिक्षक समस्याओं के साथ-साथ शिक्षा के क्षेत्र में काम करने वाला संगठन है. विशिष्ट अतिथि शिव नुवाल ने बताया कि दूसरों के लिए किया गया कार्य ही निःस्वार्थ कर्म है. उन्होंने इसी को ध्यान में रखते हुए युवाओं से कार्य करने का आह्वान किया. इस कार्यक्रम में विद्यार्थियों सहित संकाय सदस्य उपस्थित रहे. कार्यक्रम का संचालन और धन्यवाद ज्ञापन अभिमन्यु ने किया. कार्यक्रम का समापन शांति मन्त्र के साथ किया गया.
Reporter: Deepak Vyas