Shubhanshu Shukla Wife: भारत के अंतरिक्षयात्री शुभांशु शुक्ला अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन पहुंच गए हैं. लखनऊ निवासी शुभांशु शुक्ला के परिवार के बारे में भी लोगों की दिलचस्पी बढ़ी है, आइए जानते हैं कि उनकी डॉक्टर पत्नी के बारे में...
Trending Photos
Shubhanshu Shukla Family: भारत के अंतरिक्ष यात्री शुभांशु शुक्ला एक्सिओम-4 मिशन के जरिये 3 अन्य अंतरिक्षयात्रियों के साथ स्पेस स्टेशन पहुंच चुके हैं. अंतरिक्षयात्री शुभांशु शुक्ला के स्पेस मिशन से अलग उनके परिवार खासकर पत्नी के बारे में खूब चर्चा है. शुभांशु की पत्नी डॉक्टर कामना मिश्रा पेशे से एक डेंटिस्ट हैं, जो स्कूल के वक्त उनकी दोस्त हैं. स्कूल में पढ़ाई के दौरान एक-दूसरे को अच्छे से जानने लगे और फिर परिवार की सहमति से उनकी शादी हो गई. उनका एक बेटा भी है. शुभांशु शुक्ला के पिता शंभू दयाल शुक्ला एक सेवानिवृत्त सरकारी अफसर हैं. मां गृहिणी हैं. उनके परिवार के कई लोग टीचिंग और डॉक्टरी के पेशे में हैं.
16 साल की उम्र में NDA में चयन
लखनऊ निवासी शुभांशु शुक्ला की पढ़ाई लिखाई शहर के प्रतिष्ठित सिटी मांटेसरी स्कूल से हुई. 12वीं की पढ़ाई पूरी करने के पहले ही 16 साल की उम्र में ही शुभांशु का नेशनल डिफेंस एकेडमी (NDA) में चयन हो गया. फिर 2006 में वो इंडियन एयरफोर्स के पायलट बन गए. तीन साल के भीतर ही वो विंग कमांडर बन गए और फिर कैप्टन चुने गए. शुभांशु का कहना है कि 1999 के कारगिल युद्ध से उन्हें सेना में जाने की प्रेरणा मिली और पहले ही प्रयास में उन्होंने बाजी मार ली.
हिन्दी और अंग्रेजी दोनों में मास्टर
शुभांशु शुक्ला इंग्लिश और हिन्दी दोनों में मास्टर हैं. लखनऊ में 10 अक्टूबर 1985 को उनका जन्म हुआ. जून 2006 में IAF पायलट के तौर पर फाइटर विंग में उन्हें कमीशन मिला. शुभांशु शुक्ला MiG-21, MiG-29, Su-30 MKI, जगुआर, An-32, हॉक, डोर्नियर जैसे विमान उड़ा चुके हैं. उन्हें 2000 घंटे का उड़ान अनुभव है. शुभांशु को मार्च 2024 में ग्रुप कैप्टन की जिम्मेदारी मिली.
स्कूल फ्रैंड से शादी
कामना मिश्रा और शुभांशु शुक्ला प्राइमरी क्लास के स्कूली दिनों से ही साथ हैं. कामना ने बताा कि क्लास 3 दोनों ने साथ पढ़ाई की और आगे की क्लास में वो करीबी दोस्त बन गए. कामना ने बताया कि शुभांशु बेहद शर्मीले, शांत रहने वाले शख्स हैं. वो बेहद विनम्र और मृदुभाषी हैं. उनके बेटे का नाम सिड है.
कामना मिश्रा ने बताया शुभांशु के घर का नाम
शुक्ला को उनके दोस्त प्यार से शुक्स कहकर बुलाते हैं. उनकी पत्नी कामना मिश्रा ने एक इंटरव्यू में कहा था, शुभांशु का पहला प्यार हमेशा से आसमान रहा है. अंतरिक्ष में जाने का उनका मिशन 2020 में शुरू हुआ था.इसरो के अंतरिक्ष मिशन गगनयान के लिए जब प्रशिक्षित एस्ट्रोनॉट की तलाश हुई तो शुभांशु भी आगे आए. डेढ़ साल की कड़ी मेहनत और ट्रेनिंग के बाद उनका चयन हुआ. खाने-पीने के साथ उनके सोने-उठने की पूरी प्रक्रिया ही बदल गई. शुभांशु के 14 दिन के स्पेस मिशन के बाद वो इसरो के स्वदेशी अंतरिक्ष अभियान के साथ जाने वाले एस्ट्रोनॉट के समूह का हिस्सा भी बनने वाले हैं.
अमेरिका में एकजुट होगा परिवार
शुभांशु शुक्ला की दो बहनें भी हैं. इसमें एक बहन का नाम शुचि मिश्रा है. डा. कामना मिश्रा फिलहाल अपने छह साल के बेटे कियाश के साथ अमेरिका के अटलांटा शहर में घूम रही हैं.उनके भाई कंप्यूटर इंजीनयिर उमेश मिश्रा और भाभी अपूर्वा हैं. शुभांशु ने अमेरिकी शहर फ्लोरिडा के कैनेडी स्पेस सेंटर से ही 25 जून को अंतरिक्ष के लिए स्पेसएक्स के फाल्कन 9 रॉकेट के ड्रैगन कैप्सूल में बैठकर अंतरिक्ष के लिए उड़ान भरी है. अटलांटा से फ्लोरिडा की दूरी करीब 300 किलोमीटर है. शुभांशु शुक्ला की वापसी के बाद परिवार वहीं अमेरिका में एकजुट होगा. शुभांशु शुक्ला का अंतरिक्ष जाने के लिए समर्पण इतना ज्यादा है कि उन्होंने पिछले 4-5 सालों से घर का खाना नहीं खाया है और लंबी ट्रेनिंग प्रक्रिया के तरह एस्ट्रोनॉट के लिए अनुकूल खान-पान की शैली को अफना रहे हैं.
ISS पर शुभांशु शुक्ला के साथ 10 लोग दिखे कौन हैं? जानें वहां क्या-क्या काम करती है टीम