अरुणाचल प्रदेश में संसदीय सचिवों की नियुक्ति को वैध बनाने वाला कानून हुआ रद्द
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अरुणाचल प्रदेश में संसदीय सचिवों की नियुक्ति को वैध बनाने वाला कानून हुआ रद्द

कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि बीती 27 जुलाई को आए सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के मद्देनजर संसदीय सचिवों की नियुक्ति असंवैधानिक है. 

फाइल फोटो

नई दिल्ली: गुवाहाटी हाई कोर्ट की ईटानगर बेंच ने अरुणाचल प्रदेश में संसदीय सचिवों की नियुक्ति को वैध बनाने वाले कानून को रद्द कर दिया है. कोर्ट ने अपने आदेश  में अरुणाचल प्रदेश संसदीय सचिव (नियुक्ति, वेतन, भत्ता और अन्य प्रावधान)  कानून 2007 को 'असंवैधानिक' करार दिया है. 

जस्टिस मनोजीत भूयान और जस्टिस रूमी कुमारी की डिवीजन बैंच ने एक जनहित याचिका की सुनवाई के दौरान ये फैसला दिया. कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि बीती 27 जुलाई को आए सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के मद्देनजर संसदीय सचिवों की नियुक्ति असंवैधानिक है. 

अदालत ने अपने फैसले में कहा कि चूंकि सुप्रीम कोर्ट के निर्णय के मद्देनजर अब पीआईएल पर विचार करने की जरूरत नहीं. राज्य में प्रेमा खांडू की अगुवाई वाली बीजेपी सरकार में 23 संसदीय सचिव हैं. विधानसभाओं में मंत्रियों की सीमित संख्या होने के कारण आम तौर पर राज्य सरकारें विधायकों को संसदीय सचिव के रूप में नियुक्त करती हैं, ताकि उन्हें और अधिक सरकारी सुविधाएं मिल सकें.

(एजेंसी इनपुट के साथ)

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