जयपुर: भारत में बढ़ा डिमेंशिया के मरीजों का आंकड़ा, चिकित्सकों ने बताए लक्षण
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जयपुर: भारत में बढ़ा डिमेंशिया के मरीजों का आंकड़ा, चिकित्सकों ने बताए लक्षण

कार्यक्रम के जरिए मनोरोग विभाग द्वारा आमजन, डॉक्टर्स और स्टाफ को एनीमेशन द्वारा अल्ज़ाइमर्स रोग और इसके लक्षणों साथ ही उपचार के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई.

 भारत मे डिमेंशिया का आंकड़ा लगभग 40 लाख है.

जयपुर: भारत मे बढ़ते डिमेंशिया के आंकड़ों को देखते हुए जयपुर स्थित भारत सरकार के ईएसआई मॉडल हॉस्पिटल में मनोरोग विभाग द्वारा जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इस कार्यक्रम के जरिए मनोरोग विभाग द्वारा आमजन, डॉक्टर्स और स्टाफ को एनीमेशन द्वारा अल्ज़ाइमर्स रोग और इसके लक्षणों साथ ही उपचार के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई.

विभागाध्यक्ष डॉ अखिलेश जैन के मुताबिक मुख्यतया वृध्दावस्था में होने वाली इस बीमारी में व्यक्ति में याद्दाश्त की कमी और इससे संबंधित भावनात्मक तथा व्यावहारिक परेशानियों का सामना करता है. इसमे रोगी की समझने की शक्ति, निर्णय लेने की क्षमता तथा समय के साथ सामंजस्य बिगड़ने लगता है. 

डॉ अखिलेश जैन के मुताबिक आज विश्व की लगभग पांच करोड़ आबादी डिमेंशिया रोग से ग्रसित है तथा हर साल लगभग 1 करोड़ नए रोगी बढ़ रहे है. भारत मे डिमेंशिया का आंकड़ा लगभग 40 लाख है.

साथ ही विभाग ने ऐसी संभावना जताई कि वर्ष 2030 तक डिमेंशिया का आंकड़ा लगभग दोगुना और 2050 तक तीन गुना हो सकता है. कार्यक्रम में जानकारी दी गई कि जिन व्यक्तियों में हाइपरटेंशन, डायबिटीज, मोटापा, तम्बाखू और शराब की लत होती है, उनमें डिमेंशिया होने का खतरा ज्यादा होता है.

वहीं, कार्यक्रम के जरिये इस प्रकार के मरीजों की देखभाल में परिवार की मुख्य भूमिका पर चर्चा की गई. साथ ही, ऐसे रोगियों के प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण, संयम, और दैनिक कार्यों के लिए प्रेरित करने पर जोर दिया गया. कार्यक्रम में लगभग 400 से ज्यादा लोगों ने भाग लिया.

--Laxmi upadhyay, new desk

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