Supreme Court refuses petition deepfake videos: आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस की मदद से बनने वाले डीपफेक वीडियो को रोकने के लिए पॉलिसी बनाने की मांग वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई से इंकार कर दिया. जानें इसमें कर्नल सोफिया कुरैशी का क्या है मामला?
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Col Sofiya Qureshi deepfake videos: सुप्रीम कोर्ट ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) की मदद से बनाए गए डीपफेक वीडियो को रोकने के लिए नीति बनाने की मांग वाली याचिका पर सुनवाई करने से इंकार कर दिया है. जस्टिस सूर्यकांत की अध्यक्षता वाली बेंच ने याचिकाकर्ता को दिल्ली हाईकोर्ट में पहले से लंबित मामले में आवेदन दायर करने का निर्देश दिया. याचिका में डीपफेक वीडियो के दुरुपयोग को रोकने के लिए सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में एक विशेषज्ञ समिति के गठन की मांग की गई थी.
सोफिया कुरैशी का क्या है मामला?
याचिकाकर्ता के वकील ने तर्क दिया कि डीपफेक का खतरा बढ़ रहा है. उदाहरण के तौर पर, ऑपरेशन सिंदूर की जानकारी मीडिया से साझा करने वालीं भारतीय सेना की वरिष्ठ अधिकारी कर्नल सोफिया कुरैशी के डीपफेक वीडियो ऑनलाइन प्रसारित हो रहे हैं. इस तरह के कंटेंट से सामाजिक और राजनीतिक स्थिरता को खतरा हो सकता है. याचिका में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर एआई-जनरेटेड या डीपफेक कंटेंट की पहचान और हटाने के लिए सख्त नियम बनाने की मांग की गई थी. इसमें केंद्र सरकार और चुनाव आयोग को पक्षकार बनाया गया था.
पहले हाई कोर्ट जाइए
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि डीपफेक से संबंधित कई याचिकाएं दिल्ली हाईकोर्ट में पहले से लंबित हैं. दिल्ली हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली बेंच इन याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है और केंद्र सरकार से जवाब मांगा गया है. कोर्ट ने आशंका जताई कि अगर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू होती है, तो हाईकोर्ट की कार्यवाही प्रभावित हो सकती है. इसलिए, याचिकाकर्ता को हाईकोर्ट में आवेदन करने को कहा गया. साथ ही, सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट से अनुरोध किया कि यदि याचिकाकर्ता वहां आवेदन करता है, तो उसके सुझावों पर विचार किया जाए.
डीपफेक वीडियो के बढ़ते खतरे को देखते हुए विशेषज्ञों का मानना है कि इस मुद्दे पर त्वरित और प्रभावी नीतिगत हस्तक्षेप की आवश्यकता है. दिल्ली हाईकोर्ट में इस मामले की सुनवाई अब और महत्वपूर्ण हो गई है. (इनपुट आईएएनएस से)