प्रस्तावित जलमार्ग परियोजना त्रिपुरा की गुमती नदी को बांग्लादेश की मेघना नदी से जोड़ेगी. इससे पड़ोसी देश के आशूगंज बंदरगाह तक पहुंच बनाई जा सकेगी.
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अगरतला: त्रिपुरा के मुख्यमंत्री बिप्लब कुमार देब जल्द से जल्द भारत-बांग्लादेश जलमार्ग परियोजना को शुरू करने के इच्छुक हैं, क्योंकि यह परियोजना राज्यों के संचार प्रणाली में बड़ा परिवर्तन ला सकती है. एक वरिष्ठ अधिकारी ने बुधवार को यह जानकारी दी.
प्रस्तावित जलमार्ग परियोजना त्रिपुरा की गुमती नदी को बांग्लादेश की मेघना नदी से जोड़ेगी. इससे पड़ोसी देश के आशूगंज बंदरगाह तक पहुंच बनाई जा सकेगी.वर्तमान में जहाज और स्टीमर पश्चिम बंगाल के हल्दिया से बांग्लादेश में दाऊदकांडी तक चलती हैं, जो त्रिपुरा के सोनामुरा उप-मंडल से केवल 80 किमी दूर है.
प्रदेश के परिवहन सचिव एल दारलोंग ने कहा कि मंगलवार को योजना विभाग के साथ बैठक में मुख्यमंत्री को 15 किलोमीटर की अंतर्देशीय जलमार्ग परियोजना पर संयुक्त तकनीकी समितियों की रिपोर्ट के बारे में जानकारी दी गई.
रिपोर्ट में प्रस्तावित जलमार्ग के संचालन के लिए 15 किलोमीटर के खंड पर ड्रेजिंग कार्य का सुझाव दिया गया है. अधिकारी ने कहा कि मुख्यमंत्री ने महत्वाकांक्षी जलमार्ग परियोजना के कार्य को बढ़ाने के लिए परिवहन विभाग को भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण (आईडब्ल्यूएआई) के साथ एक बैठक करने के लिए कहा है.