रिपोर्ट का हवाला देते हुए सचिव बेसिक शिक्षा परिषद् ने जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को जांच में आए अध्यापकों पर कार्रवाई का आदेश दिया था.
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कौशाम्बी, अजय कुमार: कौशाम्बी में कई सालों से नौकरी कर रहे 10 अध्यापकों को बर्खास्त कर दिया गया है. इन अध्यापकों पर आरोप है कि इन्होंने साल 2004-05 में आगरा की डॉ. भीम राव अम्बेडकर विश्व विद्यालय की फर्जी डिग्री लगाकर नौकरी हासिल की है, जिसका खुलासा प्रदेश स्तर पर एसआईटी (स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम) जांच में हुआ है.
रिपोर्ट का हवाला देते हुए सचिव बेसिक शिक्षा परिषद् ने जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को जांच में आए अध्यापकों पर कार्रवाई का आदेश दिया था. जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी ने मंगलवार देर शाम जांच रिपोर्ट में दिए गए अध्यापकों पर कार्रवाई करते हुए उन्हें सेवा से बर्खास्त कर दिया है. शिक्षा विभाग अब इन मुन्ना भाई अध्यापकों पर एफआईआर दर्ज कराकर सरकारी धन के रिकवरी करने की तैयारी में लग गया है.
बेसिक शिक्षा अधिकारी अरविन्द कुमार के मुताबिक, डॉ अम्बेडकर विश्व विद्यालय आगरा के 10 अध्यापक, जिसमें 5 फेक और 5 टेम्पर्ड टीचरों को बर्खास्त किया गया है. एसआईटी की जांच में इनके नाम सामने आये थे. सचिव बेसिक शिक्षा प्रयागराज के निर्देश के क्रम में उन्होंने यह कार्रवाई की है. बर्खास्त लोगों पर अब विभाग एफआईआर दर्ज कराकर कार्रवाई की तैयारी कर रही है.
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दरअसल, साल 2004-05 में शिक्षकों की भर्ती में बने पैमाने पर फर्जी डिग्री और प्रमाणपत्रों के जरिये सरकारी नौकरी हासिल करने का मामला सामने आया था, जिसके बाद प्रदेश शिक्षा विभाग के कई बार ऐसे आरोपित शिक्षकों की जांच के लिए कमेटी बनाई गई. लेकिन नतीजा सिफर रहा. प्रदेश में बीजेपी सरकार के आने के बाद पूरे मामले की जांच एसआईटी के पुलिस महानिदेशक को सौंप दी गई. तकरीबन 2 साल की जांच के बाद एसआईटी ने प्रदेश के 1321 टीचरों की या तो डिग्री फर्जी पाई गई या फिर प्रमाणपत्र जाली मिले है, जिसमे कौशाम्बी के 10 टीचर भी शामिल है. जिन पर बीएसए ने ताजा कार्रवाई करते हुए उन्हें बर्खास्त कर दिया है.