अयोध्‍या केस LIVE: 14वें दिन की सुनवाई जारी, हिंदू पक्षकारों की दलील पूरी होने की उम्‍मीद
Advertisement
trendingNow0/india/up-uttarakhand/uputtarakhand567798

अयोध्‍या केस LIVE: 14वें दिन की सुनवाई जारी, हिंदू पक्षकारों की दलील पूरी होने की उम्‍मीद

आज हिंदू पक्षकारों की दलील पूरी हो जाने की उम्मीद है. उसके बाद मुस्लिम पक्षकारों की दलील शुरू होगी. 

अयोध्‍या केस LIVE: 14वें दिन की सुनवाई जारी, हिंदू पक्षकारों की दलील पूरी होने की उम्‍मीद

नई दिल्‍ली: अयोध्‍या केस में 14वें दिन की सुनवाई जारी है. रामजन्म भूमि पुनरोद्धार समिति के वकील पीएन मिश्रा अपनी दलीलें पेश कर रहे हैं. आज हिंदू पक्षकारों की दलील पूरी हो जाने की उम्मीद है. उसके बाद मुस्लिम पक्षकारों की दलील शुरू होगी. इससे पहले मंगलवार को 13वें दिन की सुनवाई में निर्मोही अखाड़ा की दलीलें पूरी होने के बाद रामजन्मभूमि पुनरुद्धार समिति की तरफ से पीएन मिश्रा ने पक्ष रखना शुरू किया. उन्‍होंने अपनी बहस शुरू करते हुए कहा था कि मंदिर को शिफ्ट किया जा सकता है. रामजन्मभूमि को शिफ्ट नहीं किया जा सकता, जैसे मक्का और मदीना को शिफ्ट नहीं किया जा सकता. उन्‍होंने कहा कि हिंदुओं के लिए यह मायने नहीं रखता कि मंदिर बाबर ने गिराई या औरंगज़ेब ने. यह मुस्लिम पक्ष के लिए अहमियत रखता है कि बाबर ने मस्जिद कैसे बनवाई?

पीएन मिश्रा ने कहा कि रामजन्मभूमि से 85 स्तंभ मिले थे जिनमें से 84 स्तंभ को विक्रमादित्य ने स्थापित किया था और एक गरुड़ स्‍तंभ था. हमारी आस्था और विश्वास है कि जन्मभूमि पर ही मस्जिद बनी है. हम लंबे अरसे से पूजा करते आ रहे हैं, सभी गजेटियर में उस जमीन को जन्मस्थान बताया गया है.

अयोध्‍या केस: 'महाभारत काल में लिखे पुराण में रामजन्मभूमि के लिए हिंदू आस्था का जिक्र'

पीएन मिश्रा ने कहा कि 1888 में एलेक्ज़ेंडर ने बुक लिखी उसमें बाबरी मस्जिद के बारे में विवरण था कि उसको मीर बाकी ने 1523 AD में बनवाया था. यह बाबर से पहले की बात है जबकि बाबर 1526 में आया था. हेनरी बेवरेज ने कहा कि 1528 में बाबर के कहने पर मीर बाकी ने बनवाया था. बाद में कहा गया कि 1560 में अब्दुल बाकी इस्फ़हानी ने मस्जिद बनवाई. 1934 में अब्दुल हसन गया और उसने डिस्क्रिप्शन में कुछ शब्द जोड़ दिया था.

LIVE TV

अयोध्या केस: 'रामजन्मभूमि से 85 स्तंभ मिले, इनमें से 84 को विक्रमादित्य ने स्थापित किया'

पीएन मिश्रा ने कहा कि 1965 में ASI की रिपोर्ट में कहा गया कि हेनरी बेवरेज और सभी का विवरण ग़लत था. पीएन मिश्रा ने कहा कि बाबरनामा में मीर बाकी नाम का कोई व्यक्ति नहीं है. मीर शब्द रॉयल लोगों के लिए इस्तेमाल किया जाता था, बाबरनामा में बाकी बेग, बाकी तरखान, बाकी फहानी, बाकी ताशकन्दी जैसे लोगों का ज़िक्र है लेकिन मीरबाकी का ज़िक्र नहीं है.

निर्मोही अखाड़ा
उससे पहले मंगलवार सुबह सबसे पहले निर्मोही अखाड़ा की ओर से वकील सुशील जैन ने पक्ष रखा. निर्मोही अखाड़ा ने शेबेट के दावे पर तैयार अपने नोटस को पढ़ा. निर्मोही अखाड़ा ने याचिका भगवान की तरफ से मन्दिर के रखरखाव (मैनेजमेंट) के लिए दाखिल की थी. जैन ने कहा था कि विवादित स्थल के अंदरूनी आंगन में एक मंदिर था वही जन्मभूमि का मंदिर है. वहां कभी कोई मस्जिद नहीं थी, मुसलमानों को मंदिर में जाने की इजाज़त नहीं थी, वहां पर हिन्दू अपनी-अपनी आस्था अनुसार पूजा करते थे.

सुशील कुमार जैन ने कहा था कि रेवन्यू रिकॉर्ड से साफ है कि ज़मीन पर निर्मोही अखाड़े के अधिकार है, निर्मोही खड़ा के वकील सुशील कुमार जैन ने इसके साथ ही अपनी जिरह पूरी की.

(इनपुट: सुमित कुमार के साथ)

Trending news

;