अखिलेश के साथ नजदीकियां बढ़ा रहे थे BSP के 'राम' और 'लाल', मायावती ने पार्टी से बाहर निकाला
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अखिलेश के साथ नजदीकियां बढ़ा रहे थे BSP के 'राम' और 'लाल', मायावती ने पार्टी से बाहर निकाला

रामअचल राजभर अकबरपुर से 4 बार विधायक रहे हैं. लालजी वर्मा आंबेडकर नगर जिले के कटेहरी निर्वाचन क्षेत्र से बसपा के टिकट पर चुनाव जीतकर 17वीं विधानसभा में पहुंचे हैं.

रामअचल राजभर (L), लालजी वर्मा (R).

लखनऊ: बहुजन समाज पार्टी (BSP) सुप्रीमो मायावती ने बड़ी कार्रवाई करते हुए विधान मंडल दल के नेता लालाजी वर्मा और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष रामअचल राजभर को पार्टी से निष्कासित कर दिया है. दोनों पर पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप है. इनके समाजवादी पार्टी के संपर्क में होने की बात कही जा रही है. 

अखिलेश यादव के संपर्क में थे ये दोनों नेता
रामअचल राजभर अकबरपुर से 4 बार विधायक रहे हैं. दोनों नेता मायावती सरकार में मंत्री भी रहे हैं. कुछ दिनों पहले हुए राज्यसभा चुनाव के दौरान भी दोनों विधायकों ने पार्टी के उम्मीदवारों की जगह दूसरे उम्मीदवारों का समर्थन किया था. अब शाह आलम उर्फ गड्डू जमाली को बसपा विधानमंडल दल का नेता बनाया गया है. वह आजमगढ़ के मुबारकपुर से लगातार दूसरी बार के विधायक हैं. 

मायावती के बेहद करीबी रहे हैं लाल जी वर्मा
लालजी वर्मा आंबेडकर नगर जिले के कटेहरी निर्वाचन क्षेत्र से बसपा के टिकट पर चुनाव जीतकर 17वीं विधानसभा में पहुंचे हैं. उन्होंने BJP के अवधेश कुमार को हराया था. आंबेडनगर के मोहिउद्दीनपुर गांव में 5 जनवरी 1955 को जन्में लालजी वर्मा ने कृषि विज्ञान विषय में एमएससी की शिक्षा हासिल की है.

मायावती सरकार में मंत्री रहे रामअचल राजभर 
वहीं रामअचल राजभर ने अपने राजनीतिक करियर की शुरुआत अकबरपुर ब्‍लॉक प्रमुख चुनाव से की थी. वह 1991 में बसपा से विधायकी का चुनाव लड़े लेकिन हार गए. फिर 1993 में बसपा से विधानसभा चुनाव लड़े और जीत हासिल की. इसके बाद वह 1996, 2002 और 2007 में विधायक बने. मायावती की सरकार में उन्हें परिवहन मंत्री बनाया गया. उन पर घोटाले के कई आरोप भी लगे.

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