सरकार चमोली, उत्तरकाशी और पिथौरागढ़ के अंतरराष्ट्रीय सीमा क्षेत्र से सटे सीमांत क्षेत्रों में पर्यटन को बढ़ावा देने की दिशा में काम कर रही है.
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देहरादून: उत्तराखंड की त्रिवेंद्र रावत सरकार प्रदेश के सीमांत क्षेत्रों को पर्यटन से जोड़ने की कवायद में जुट गई है. सरकार चमोली, उत्तरकाशी और पिथौरागढ़ के अंतरराष्ट्रीय सीमा क्षेत्र से सटे सीमांत क्षेत्रों में पर्यटन को बढ़ावा देने की दिशा में काम कर रही है. इसके लिए मुख्यमंत्री जल्द ही रक्षा मंत्री और सेना के अधिकारियों के साथ भी बातचीत करेंगे.
दरअसल, उत्तराखंड राज्य की सीमाएं अंतरराष्ट्रीय सीमा से लगी हुई हैं. यहां चीन के साथ अंतर्राष्ट्रीय सीमा लगती है. सीमांत क्षेत्र बेहद ही खूबसूरत होने के साथ ही पर्यटकों के लिए आकर्षण का भी एक अद्भुत केंद्र है. यहां की प्राकृतिक सुंदरता फिल्म शूटिंग के लिए बहुत बेहतरीन हैं. सीमांत क्षेत्रों से सटे गांव भी खूबसूरती के लिए अपनी एक अलग पहचान रखते हैं, लेकिन पलायन की मार से यह इलाके भी अछूते नहीं हैं. इसीलिए राज्य सरकार की कोशिश है कि इन सीमांत क्षेत्रों में भी पर्यटन को बढ़ावा देने का काम किया जाए, ताकि पर्यटन की दृष्टि से सीमांत क्षेत्र को एक नई पहचान मिले, साथ ही इन क्षेत्रों में पलायन भी रुक सके.
हालांकि सुरक्षा के लिहाज से यहां पहुंचने में कुछ दिक्कतें भी हैं. उसकी वजह है कि बॉर्डर एरिया होने के चलते यहां आम आदमी को आगे जाने की इजाजत नहीं है जिस कारण से इन क्षेत्रों में पर्यटन की अपार संभावनाएं होने के बावजूद भी यहां पर्यटक नहीं जा पाते हैं.लेकिन अब राज्य सरकार की कोशिश है कि ऐसे क्षेत्रों में भी पर्यटन को बढ़ावा दिया जाए. मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत का कहना है कि इस संबंध में उनकी रक्षा मंत्री और सेना के अधिकारियों से भी मुलाकात होगी.