जब विधान परिषद में करसवल कांड को याद कर फूट-फूटकर रोने लगे Sanjay Nishad...
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जब विधान परिषद में करसवल कांड को याद कर फूट-फूटकर रोने लगे Sanjay Nishad...

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार में मत्स्य पालन मंत्री संजय निषाद (Sanjay Nishad) बीते गुरुवार परिषद में फूट-फूटकर रो दिए. उनके आंसू करसवल कांड को याद करके निकल आए और अपने इमोशन वह संभाल नहीं पाए.

जब विधान परिषद में करसवल कांड को याद कर फूट-फूटकर रोने लगे Sanjay Nishad...

Sanjay Nishad Crying: उत्तर प्रदेश की योगी सरकार में मत्स्य पालन मंत्री संजय निषाद (Sanjay Nishad) बीते गुरुवार परिषद में फूट-फूटकर रो दिए. उनके आंसू करसवल कांड को याद करके निकल आए और अपने इमोशन वह संभाल नहीं पाए. इस दौरान निषाद समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) पर हमलावर हो गए और अपना दर्द जाहिर करते हुए रो पड़े. उन्होंने सपा काल में खुद के ऊपर फेक केस दर्ज किए जाने का आरोप लगाया और कहा कि हमारे देश में ऐसे लोगों को पॉलिटिक्स करने का कोई हक नहीं है.

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2015 के गोलीकांड को याद करते हुए रोने लगे संजय निषाद
गौरतलब है कि कसरवल कांड में कोर्ट ने फैसला सुनाते हुए पुलिस की गलती बताई थी. इस फैसले का हवाला देते हुए निषाद ने अपने खिलाफ हुए मुकदमों को वापस लेने की मांग उठाई. संजय निषाद उस गोलीकांड को याद करने लगे. बोले, ''7 जून 2015 को करसवल कांड, मेरे लोग रेल को लेकर आवाज उठा रहे थे. समाजवादी पार्टी ने गोली मरवा दिया. एक मेरा भाई मारा गया और 302 (हत्या) का मुल्जिम हमें बना दिया. जेल में हमें तन्हाई में रखा गया था.'' संजय निषाद ने ये बातें कहीं, तो उनका गला भर गया. उस दौरान उन्होंने सीएम योगी आदित्यनाथ का भी धन्यवाद किया.

"मुझे और मेरे लोगों को न्याय मिलना चाहिए"
संजय निषाद सपा पर भड़कते हुए बोले कि ऐसे लोगों को देश में राजनीतिक करने का कोई हक नहीं है. उन्होंने कहा कि उन्हें सबसे बड़ा अपराधी घोषित कर दिया गया. वह कैसे जिंदा हैं, वह ही जानते हैं. संजय निषाद का कहना है कि उनको इंसाफ मिलना चाहिए और इन जातियों के साथ भी न्याय होना चाहिए. 

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मुकदमा वापस लेने की बात कही
संजय निषाद ने कहा कि इन लोगों ने साल 2015 में उनके खिलाफ 302 धारा के तहत फर्जी केस दर्ज करा दिया. सुनवाई में कोर्ट ने मान लिया कि गोली पुलिस की ओर से चली थी. इसलिए वह चाहते हैं कि इस मामले में जांच हो. निषाद के साथ उनके सभी लोगों के केसेस भी वापस लिए जाएं.

क्या जानते हैं क्या है कसरवल कांड?
दरअसल, सरकारी नौकरी में निषादों को 5 प्रतिशत रिजर्वेशन की मांग की जा रही थी. उस दौरान संजय निषाद की पार्टी संतकबीरनगर जिले की सीमा पर कसरवल में आंदोलन कर रही थी. सैकड़ों-हजारों लोग रेलवे ट्रैक पर मौजूद थे और लीड कर रहे थे संजय निषाद. वहीं, दूसरी ओर आरपीएफ तैनात थी. जानकारी के मुताबिक, उस दौरान भीड़ उग्र हो गई और पुलिस और सीआरपीएफ पर पथराव शुरू हो गया. वहीं, गोलियां भी चलने लगीं. इसमें एक युवक को गोली लगी और उसकी मौत हो गई. इतना ही नहीं, 24 से ज्यादा लोग घायल भी हो गए. 

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